Madhya Pradesh: बालाघाट में मुखबिरी के शक में नक्सलियों ने की ग्रामीण की हत्या
Naxalite Violence In MP नक्सलियों ने एक ग्रामीण की गोली मारकर हत्या कर दी। नक्सलियों को शक था कि ग्रामीण पुलिस के लिए मुखबिरी करता था। घटना मध्य प्रदेश के बालाघाट की है। नक्सलियों ने मौके पर धमकी भरे पर्चे भी छोड़े हैं।
बालाघाट, जेएनएन। Naxalite Violence In MP: मध्य प्रदेश में बालाघाट (Balaghat) जिले के जगला गांव में नक्सलियों (Naxalites) ने एक ग्रामीण (Villager ) की गोली मारकर हत्या कर दी। नक्सलियों को शक था कि ग्रामीण पुलिस के लिए मुखबिरी करता था। शुक्रवार की रात करीब 10 से 11 बजे के बीच 15-20 सशस्त्र नक्सली जगला निवासी लालू धुर्वे के घर पहुंचे। उन्होंने आवाज देकर लालू को घर से बाहर बुलाया। जैसे ही वह बाहर निकला नक्सलियों ने उसे बंदूक बल पर उठा लिया। घर वाले नक्सलियों को उसे ले जाने से रोकते रहे, लेकिन वह नहीं माने। पूरी रात जब वह वापस नहीं लौटा तो स्वजन खोज के लिए निकले। गांव से कुछ ही दूर पर वह मृत मिला। नक्सलियों ने मौके पर धमकी भरे पर्चे भी छोड़े हैं।
बालाघाट में 14 माह में चार ग्रामीणों की हुई हत्या
पिछले 14 माह में बालाघाट जिले में नक्सलियों ने मुखबिरी के शक में चार ग्रामीणों की हत्या की है। सूचना के बाद पुलिस बल मौके के लिए रवाना हो गया था।
नक्सलियों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए समर्पण नीति लागू होगी
नक्सली हिंसा (Naxalite Violence) और हमले की ताबड़तोड़ घटनाएं सबके लिए चिंता का विषय हैं। राज्य के लगभग सभी जिले उग्रवादी प्रभाव में हैं, इसलिए इस विकासशील राज्य में केवल सामान्य अपराध पर अंकुश लगाना काफी नहीं है। नक्सली और आतंकी घटनाओं ने संगठित अपराध रोकने की चुनौती काफी बढ़ा दी है। अब सरकार ने तय किया है कि नक्सलियों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए समर्पण नीति लागू की जाएगी।
मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार नक्सलियों के लिए जल्द ही समर्पण नीति ला रही है। इसमें नक्सलियों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने और आत्मनिर्भर बनाने के लिए उन्हें कौशल विकास का प्रशिक्षण दिया जाएगा। पांच लाख रुपये नकद देने के साथ निःशुल्क आवास, खेती के लिए भूमि भी उपलब्ध कराई जाएगी। इसके लिए पुलिस मुख्यालय ने प्रस्ताव बनाकर गृह विभाग को भेजा था।
यहां नक्सली गतिविधियों पर अंकुश लगाने के लिए हाकफोर्स तैनात की गई है। अधोसंरचना विकास के साथ विभिन्न हितग्राहीमूलक योजनाओं का क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जा रहा है। विभाग ने नीति का प्रारूप तैयार करके अंतिम निर्णय के लिए इसे कैबिनेट भेजा है। प्रदेश के तीन जिले (बालाघाट, मंडला और डिंडौरी) नक्सल प्रभावित हैं।