Madhya Pradesh: दुष्कर्म के बाद छात्रा को मतांतरण के लिए धमकाया, गिरफ्तार
Madhya Pradesh छात्रा से दुष्कर्म करने और इस्लाम धर्म अपनाने के लिए दबाव डालने वाले युवक शेख सरफराज को खंडवा जिले की कोतवाली थाना पुलिस ने बुधवार को एक होटल से गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
खंडवा, जेएनएन। मध्य प्रदेश के खरगोन जिले की 21 वर्षीय छात्रा से दुष्कर्म करने और इस्लाम धर्म अपनाने के लिए दबाव डालने वाले युवक शेख सरफराज को खंडवा जिले की कोतवाली थाना पुलिस ने बुधवार को एक होटल से गिरफ्तार कर लिया है। मामला बुरहानपुर जिले के खकनार का होने से युवक को वहां की पुलिस को सौंप दिया गया है। छात्रा को उसके स्वजन के हवाले कर दिया गया है। दरअसल, खरगोन के ग्राम झिरन्या निवासी छात्रा पढ़ाई के लिए खकनार में बुआ के घर रहती थी। पड़ोस में ही शेख सरफराज रहता है। सरफराज ने पहले दोस्ती की, फिर छात्रा के साथ धमकी देकर दुष्कर्म करने लगा। शादी के लिए इस्लाम धर्म अपनाने की शर्त भी रखने लगा। छात्रा सहेली के साथ खंडवा आकर किराये के मकान में रहने लगी तो वह बुधवार को वहां भी पहुंच गया और उसे धमकी देकर होटल में ले गया। हिंदू संगठन के कार्यकर्ताओं को जब सूचना मिली तो वे होटल पहुंच गए। उन्होंने दोनों को पकड़ा और पुलिस को सूचित किया। खंडवा नगर पुलिस अधीक्षक ललित गठरे ने बताया कि आरोपित शेख सरफराज पर दुष्कर्म की धारा 376(2)(एन) और मध्य प्रदेश धार्मिक स्वतंत्रता अध्यादेश अधिनियम में प्रकरण दर्ज किया गया है। आगे की जांच खकनार पुलिस करेगी।
गौरतलब है कि इससे पहले इंदौर में दोस्त की पत्नी की अश्लील तस्वीरें खींचने और उसे ब्लैकमेल कर धर्म परिवर्तन कर निकाह के लिए मजबूर करने के आरोप में पुलिस ने एक व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया था। पुलिस ने बताया कि पास के महू कस्बे के निवासी आसिफ यूसुफ शेख ने एक विवाहिता की अश्लील तस्वीरें खींच लीं और धमकी दी कि अगर उसने धर्म परिवर्तित कर उससे निकाह नहीं किया तो वह उन्हें वायरल कर देगा। महू पुलिस थाने में दर्ज शिकायत के अनुसार, आरोपित ने उससे पैसे भी लिए। पीड़िता ने कहा कि शेख उसके पति का दोस्त है। इसलिए वह इसे घर आता-जाता रहता था। इसी बीच, मौका पाकर उसने दोस्त की पत्नी की अश्लील फोटो खींच लीं। इसके बाद उसे धर्मांतरण के बाद निकाह करने के लिए मजबूर करने लगा। महू थाना प्रभारी कुलदीप ने कहा कि आइपीसी की धारा 384 (जबरन वसूली) और मध्य प्रदेश धार्मिक स्वतंत्रता अधिनियम (2021) की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया।