म्यांमार में गहराता जा रहा भूखमरी का संकट, वर्ल्ड फूड प्रोग्राम ने दी चेतावनी

म्यांमार में कोरोना वायरस का भी प्रकोप बरकरार है। ऐसे में यहां पर भूखमरी का संकट बढ़ सकता है। यह चेतावनी वर्ल्ड फूड प्रोग्राम (World Food Programme) ने दी है। शुक्रवार को जारी किए बयान में इस संस्थान ने कहा कि भूखमरी का संकट गहराता जा रहा है।

By Pooja SinghEdited By: Publish:Sat, 07 Aug 2021 09:05 AM (IST) Updated:Sat, 07 Aug 2021 09:11 AM (IST)
म्यांमार में गहराता जा रहा भूखमरी का संकट, वर्ल्ड फूड प्रोग्राम ने दी चेतावनी
भूखमरी के कगार पर पहुंचा म्यांमार, संकट बढ़ने को लेकर वर्ल्ड फूड प्रोग्राम की चेतावनी

नैप्यीटाव, एएनआइ। म्यांमार में राजनीतिक आशंति और विस्थापन के चलते लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इतना ही नहीं यह देश कोरोना संक्रमण से भी अछूता नहीं है। पहले से मुश्किलों का सामना कर रहे म्यांमार में कोरोना वायरस का भी प्रकोप बरकरार है। ऐसे में यहां पर भूखमरी का संकट बढ़ सकता है। यह चेतावनी वर्ल्ड फूड प्रोग्राम (World Food Programme) ने दी है। शुक्रवार को जारी किए बयान में इस संस्थान ने कहा कि संकट की घड़ी कई लोगों की नौकरियां भी छूट गई हैं, जिसके चलते यहां पर भूखमरी की समस्या विकराल रूप ले सकती है।

अगले 6 महीनों में भूख से पीड़ित लोगों की संख्या दोगुनी होने की चेतावनी

वर्ल्ड फूड प्रोग्राम ने आगे कहा कि म्यांमार में राजनीतिक अस्थिरता के चलते यहां पर लोगो की रक्षा के लिए चलाई जा रही है फंडिंग को भी रोका जा रहा है और आने वाले 6 महीनों में इसकी 70 फीसद से अधिक की जरूरतें अभी तक पूरी नहीं हुई हैं। संस्थान ने अपने बयान में बताया कि डब्ल्यूएफपी ने अनुमान लगाया है कि अगले छह महीनों में भूख से पीड़ित लोगों की संख्या दोगुनी से अधिक 6.2 मिलियन हो सकती है, जो फरवरी से पहले 2.8 मिलियन थी।

भोजन खरदीने के लिए लोग उधार ले रहे पैसे

डब्ल्यूएफपी म्यांमार के कंट्री डायरेक्टर स्टीफन एंडरसन ने कहा, 'हमने म्यांमार में भूखमरी के हालात को बढ़ते हुए देखा है। यांगून के आसपास झुग्गी बस्तियों में रहने वाले लगभग 90 फीसद परिवारों का कहना है कि उन्हें भोजन खरीदने के लिए पैसे उधार लेने पड़ते हैं। कई लोगों की आय बुरी तरह प्रभावित हुई है'।

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