हर हाल में करेंगे चीन से देशवासियों की सुरक्षा, हमले की सूरत में अमेरिका संग अन्‍य देश देंगे मदद- राष्‍ट्रपति साइ

ताइवान में लगातार चीन का खतरा बढ़ता ही जा रहा है। आलम ये है कि यहां पर युद्ध होने तक के बादल मंडराते दिखाई दे रहे हैं। यही वजह है कि ताइवान की राष्‍ट्रपति ने इसको लेकर एक बड़ा बयान भी दिया है।

By Kamal VermaEdited By: Publish:Thu, 28 Oct 2021 11:20 AM (IST) Updated:Thu, 28 Oct 2021 11:20 AM (IST)
हर हाल में करेंगे चीन से देशवासियों की सुरक्षा, हमले की सूरत में अमेरिका संग अन्‍य देश देंगे मदद- राष्‍ट्रपति साइ
चीन से बढ़ रहा है ताइवान को खतरा

ताइपे (एएनआई)। ताइवान की राष्‍ट्रपति साइ इंग वेन ने कहा है कि उन्‍हें इस बात का पूरा विश्‍वास है कि यदि चीन की तरफ से उनके ऊपर हमला हुआ तो अमेरिका और दूसरे क्षेत्रीय लोकतांत्रिक देश उसकी मदद के लिए साथ आएंगे। राष्‍ट्रपति साइ वेन ने ये बयान सीएनएन के साथ हुए एक इंटरव्‍यू के दौरान दिया है। बता दें कि एक दिन पहले ही अमेरिका ने ताइवान के साथ चीन के बढ़ते तनाव के मद्देनजर बड़ा बयान दिया था। अमेरिका ने कहा था कि चीन लगातार अपनी सीमा से बाहर आने की कोशिश कर रहा है। अमेरिका की तरफ से ताइवान की यूएन सिस्‍टम में अर्थपूर्ण भागीदारी बढ़ाने पर भी बल दिया है।

राष्‍ट्रपति साइ ने इस इंटरव्‍यू के दौरान कहा कि ताइवान अकेला नहीं है, क्‍योंकि वो एक लोकतांत्रिक देश है। हम आजादी का सम्‍मान करते हैं और शांति के उपासक हैं। इसके अलावा हम इस क्षेत्र के अन्‍य देशों की वैल्‍यूज और उनके भूगौलिक क्षेत्र का भी पूरा सम्‍मान करते हैं। हम इस क्षेत्र और इसमें शामिल देशों की रणनीति महत्‍व को भी समझते हैं। उन्‍होंने इस दौरान ये भी कहा कि इस दशक में ताइवान और चीन के संबंध सबसे निचले स्‍तर पर पहुंच गए हैं। इस माह की शुरुआत चीन ने अनेक बार अपने लड़ाकू विमानों को ताइवान की वायु सीमा के अंदर भेजा, जबकि ताइवान की स्‍थानीय मीडिया और डिप्‍लोमेट्स ने चीन की तरफ से हो रही इस घुसपैठ को लेकर आगाह तक किया।

साइ ने ये भी कहा कि चीन का खतरा हर रोज बढ़ता ही जा रहा है। उन्‍होंने इस बात की भी पुष्टि की कि अमेरिकी सेना ताइवान की जमीन पर मौजूद है। हालांकि उन्‍होंने कहा कि वो यहां पर ट्रेनिंग देने के मकसद से है। राष्‍ट्रपति ने कहा कि ताइवान लोकतांत्रिक मूल्‍यों और उनके स‍िद्धांतों को जानता है पहचानता है और उनका पूरा सम्‍मान भी करता है। बता दें कि बीजिंग ताइवान को अपना हिस्‍सा मानता है। इसको लेकर चीन के राष्‍ट्रपति शी चिनफिंग कई बार कड़ा रुख भी अपना चुके हैं। चीन की कम्‍यूनिस्‍ट पार्टी की वर्षगांठ पर भी उन्‍होंने ताइवान को हर संभव तरीके से चीन की मुख्‍य भूमि से मिलाने की बात कही थी। इससे पहले भी वो ताइवान को लेकर तीखी बयानबाजी कर चुके हैं।

इस बीच ताइवान ने साफ कर दिया है कि वो अमेरिका के साथ मिलकर चीन के हर हमले का करारा जवाब देगा। साइ ने कहा कि उनके देश के करीब 2.30 करोड़ लोग हर रोज अपनी और अपने देश की रक्षा के लिए कोशिश कर रहे हैं। उन्‍होंने लोगों को विश्‍वास दिलाया कि ताइवानियों आजादी के लायक है और सरकार इसके लिए प्रतिबद्ध है।

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