US vs Iran: अमेरिका और यूरोपीय देशों के मुखर आलोचक हैं ईरान के नए राष्‍ट्रपति रईसी, परमाणु समझौता पर रार बरकरार

यह परमाणु समझौता 2015 में ईरान और अमेरिका समेत छह महाशक्तियों के बीच हुआ था। वर्ष 2018 में तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस समझौते से अपने देश को अलग कर लिया था और तेहरान पर कई सख्त प्रतिबंध लगा दिए थे।

By Ramesh MishraEdited By: Publish:Sat, 19 Jun 2021 05:58 PM (IST) Updated:Sat, 19 Jun 2021 08:10 PM (IST)
US vs Iran: अमेरिका और यूरोपीय देशों के मुखर आलोचक हैं ईरान के नए राष्‍ट्रपति रईसी, परमाणु समझौता पर रार बरकरार
अमेरिका और यूरोपीय देशों के मुखर आलोचक हैं ईरान के नए राष्‍ट्रपति रईसी। फाइल फोटो।

तेहरान, एजेंसियां। अमेरिका और यूरोपीय देशों के मुखर आलोचक कट्टरपंथी इब्राहिम रईसी ईरान के नए राष्‍ट्रपति होंगे। खास बात है कि उन्होंने चुनाव के दौरान राजनीतिक या आर्थिक मुद्दों की चर्चा नहीं की, लेकिन उन्होंने परमाणु समझौते की बहाली की पुरजोर पैरवी की। यह परमाणु समझौता 2015 में ईरान और अमेरिका समेत छह महाशक्तियों के बीच हुआ था। वर्ष 2018 में तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस समझौते से अपने देश को अलग कर लिया था और तेहरान पर कई सख्त प्रतिबंध लगा दिए थे।

नहीं सुधरेंगे अमेरिका और ईरान के संबंध

कट्टरपंथी इब्राहिम रईसी के जीत के साथ यह तय हो गया कि ईरान और अमेरिका के संबंधों में कोई सुधार होने वाला नहीं है। दोनों देशों के बीच संबंधों में तनाव बना रहेगा। इतना ही नहीं यूरोपीय देशों के साथ ईरान के संबंधों में कोई फेरबदल नहीं होगा। नवनिर्वातिच राष्‍ट्रपति रईसी का यूरोपीय देशों के प्रति नकारात्‍मक रवैया है।

राष्‍ट्रपति चुनाव में इब्राहिम रईसी को भारी मतों से जीत

बता दें कि ईरान के राष्ट्रपति चुनाव में कट्टरपंथी उम्मीदवार इब्राहिम रईसी को भारी मतों से जीत मिली है। वह अगस्त में मौजूदा राष्ट्रपति हसन रूहानी की जगह लेंगे। रईसी देश के सर्वोच्च नेता आयतुल्ला अली खामनेई के करीबी और मुख्य न्यायाधीश हैं। मानवाधिकार उल्लंघन को लेकर अमेरिका ने उन पर प्रतिबंध लगा रखा है। परमाणु कार्यक्रम को लेकर अमेरिकी प्रतिबंधों से जूझ रहे ईरान में शुक्रवार को राष्ट्रपति पद के लिए मतदान कराया गया था। करीब छह करोड़ वोटरों में से दो करोड़ 90 लाख मतदाताओं ने मत डाले।

60 वर्षीय रईसी को एक करोड़ 78 लाख से ज्यादा वोट मिले

चुनाव अधिकारियों के अनुसार, अब तक की गिनती में 60 वर्षीय रईसी को एक करोड़ 78 लाख से ज्यादा वोट मिले हैं। देश के प्रमुख सैन्य बल रिवोल्यूशनरी गार्ड के पूर्व कमांडर मोहसिन रेजाई को 33 लाख और अब्दुलनसर हिम्मती को करीब 24 लाख वोट मिले हैं। जबकि चौथे उम्मीदवार अमीरहोसिन हाशमी के खाते में दस लाख मत गए हैं। सेंट्रल बैंक के प्रमुख रहे हिम्मती को उदार माना जाता है। उन्होंने रईसी को जीत की बधाई दी है। ईरान में हर चार साल पर राष्ट्रपति चुनाव कराया जाता है और 50 फीसद मत पाने वाले को विजेता घोषित किया जाता है।

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