यमन: अलकायदा व हूती के बीच कैदियों की अदला-बदली, दो आतंकी हुए रिहा
युद्धग्रस्त देश यमन की राजधानी सना पर हूती समूह का नियंत्रण है वहीं देश के अधिकतर उत्तरी हिस्सों में अलकायदा ने अपना कब्जा कर रखा है। कैदियों की अदला बदली में हूती के दो लड़ाकों के बदले अलकायदा के दो आतंकियों को रिहा किया गया है।
सना, आइएएनएस। यमन में हूती विद्रोहियों ने अलकायदा के दो आतंकियों को रिहा कर दिया। इसके बदले में दो हूती के दो लड़ाकों को छोड़ा गया है। युद्धग्रस्त देश यमन की राजधानी सना पर हूती समूह का नियंत्रण है वहीं देश के अधिकतर उत्तरी हिस्सों में अलकायदा ने अपना कब्जा कर रखा है।
कैदियों की यह अदला बदली स्थानीय हस्तक्षेप के बाद देश के केंद्रीय प्रांत के अलबेदा में की गई। यह जानकारी यहां के एक सैन्य अधिकारी ने दी। अधिकारी ने शिन्हुआ न्यूज एजेंसी को बताया, 'सना के नेशनल सिक्योरिटी जेल में कई सालों से बंद दो मध्यम स्तर के अलकायदा आतंकी समूह के सदस्यों को आज छोड़ दिया गया।' उन्होंने बताया कि हूती के दो लड़ाकों को इसके बदले में छोड़ा गया है। अलबेदा में मौजूद सूत्रों ने कैदियों की इस अदला-बदली के बारे में और जानकारी नहीं दी है। अलबेदा प्रांत (al-Bayda) ने यमनी सरकार की सेना और हूती के बीच संघर्ष को देखा है जिसमें कईयों की मौत हो गई और अनेकों लोग जख्मी हो गए।
बता दें कि इन दोनों आतंकियों को हूती के कब्जे वाले सना स्थित पिछले महीने के अंत में हूती विद्रोहियों ने सरकार के कब्जे वाले एक शहर में दो मिसाइलें दागी थीं। इसमें एक बच्चे समेत कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई। प्रांतीय गवर्नर के प्रेस सचिव अली अल घुलिसी के अनुसार, मिसाइलें मारिब शहर के पास रवधा में गिरीं। यमन वर्ष 2014 से गृह युद्ध की विभीषिका झेल रहा है जिसमें अब तक 1,30,000 लोग मारे जा चुके हैं और विश्व का सबसे बड़ा मानवता संकट पैदा हो गया है।
जून मध्य में यमन की राजधानी सना में ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों ने बच्चों के हत्यारों को तालिबानी सजा दी थी। राजधानी सना पर कब्जा कर चुके इन विद्रोहियों ने तीन आरोपियों को भीड़ भरे चौहारे पर ले जाकर गोलियों से भून दिया। मरने के बाद इन लोगों की लाशों को कालीन में लपेटकर वहां से हटा दिया गया। यमन में 2018 के बाद से ऐसा पहली बार हुआ है, जब किसी अपराधी को सार्वजनिक रूप से मौत की सजा दी गई है।