US: भारत-पाक वार्ता के लिए शिमला समझौता सही आधार, लेकिन इसमें ये है बड़ी बाधा
पाकिस्तान सीमा पार से आतंकवादी गतिविधियों पर विराम नहीं लगाता तब तक दोनों देशों के बीच वार्ता सफल नहीं हो सकती है।
वाशिंगटन, एजेंसी। भारत और पाकिस्तान के बढ़ते तनाव के बीच अमेरिका ने कहा है कि वह शिमला समझौते में उल्लिखित उपबंधों के आधार पर दोनों देशों के बीच सीधी बातचीत का समर्थन करता है। दक्षिण एवं मध्य एशिया मामलों की अमेरिकी कार्यवाहक सहायक विदेश मंत्री जी वेल्स ने कहा है कि अमेरिका शिमला समझौते के अनुसार भारत एवं पाकिस्तान के बीच सीधी बातचीत का समर्थन करता है। वेल्स ने कहा है कि दोनों देशों के बीच वार्ता में सबसे बड़ी बाधा सीमापार से आतंकवादी गतिविधियां हैं। इन आतंकवादी संगठनों को पाकिस्तान का समर्थन और संरक्षण प्राप्त है। जब तक पाकिस्तान सीमा पार से आतंकवादी गतिविधियों पर विराम नहीं लगाता तब तक दोनों देशों के बीच वार्ता सफल नहीं हो सकती है।
लश्कर-ए-तैयबा व जैश-ए-मुहम्मद को संरक्षण देना बंद करें
वेल्स ने पाकिस्तान को चेतावनी देते हुए कहा कि लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मुहम्मद जैसे आतंकवादी समूहों को संरक्षण देना तत्काल बंद करें। उन्होंने कहा कि दोनों आतंकी संगठन नियंत्रण रेखा के पार आतंकवादी गतिविधियों के लिए जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। ऐसे में शिमला समझौते के उपबंधों के आधार पर बात करने में अड़चल उत्पन्न होगी। वेल्स ने कहा कि हमारा मानना है कि भारत और पाकिस्तान के बीच सफल वार्ता के लिए उसे आतंकवादियों के खिलाफ अपरिवर्तनीय कदम उठाना अनिवार्य है।
भारत-पाकिस्तान के बढ़ते तनाव के बीच संयुक्त राज्य अमेरिका ने दोनों देशों को नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर शांति और स्थिरता कायम रखने का आह्वान किया है। अमेरिका ने एक बार फिर पाकिस्तान से कहा है कि सीमा पार से आंतकवाद को रोका जाना चाहिए। अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा है कि वह भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव पर नजर बनाए हुए हैं। विभाग ने कहा कि नियंत्रण रेखा पर हालिया गोलीबारी की घटना उनके संज्ञान में हैं।
भारत-पाक सीमा पर पाक सैनिकों का जमावड़ा
अमेरिका की यह पहल ऐसे समय हुई है जब भारत-पाकिस्तान की सीमा पर सैनिकों का जमावड़ा जारी है। दोनों देशों के बीच एक बार फिर युद्ध जैसे हालात हैं। पाकिस्तानी सेना ने रविवार देर रात राजौरी, पुंछ और शाहपुर सेक्टर में भारी गोलीबारी की है। उधर, भारतीय सेना ने भी सीमा पर जवाबी फायरिंग की है। भारतीय सेना ने करमारा गांव में तीन पाकिस्तानी मोर्टार को निष्क्रिय कर दिया। यह गोले आबादी क्षेत्र में गिरे थे। बता दें कि भारतीय सेना ने गुलाम कश्मीर में टंगडार सेक्टर में आतंकी कैंपों को निशाना बनाया था। आतंकी ठिकानों पर यह बड़ी सैन्य कार्रवाइ है। भारत की इस कार्रवाई से बौखलाया पाकिस्तान एलओसी पर भारी गोलीबारी कर रहा है।
सैन्य हमले में तीन आतंकवादी शिविर नष्ट
बता दें भारतीय सेना ने शनिवार और रविवार की रात को नियंत्रण रेखा पर तंगधार सेक्टर के सामने स्थित गुलाम कश्मीर के भीतर आतंकवादी लॉचपैड्स पर तोपखाने से हमले किए। इस हमले में दस पाकिस्तानी सैनिक मारे गए। भारतीय सेना का दावा है कि इस हमले में तीन आतंकवादी शिविरों एवं बड़ी तादाद में आतंकवादियो की साजो समान नष्ट किए गए।
भारतीय खुफिया एजेंसी का दावा
इस बीच पाक सेना की तेज हुई हलचल के कई संदेश भी भारतीय खुफिया एजेंसी ने पकड़े है जिनमें किसी बड़े हमले का जिक्र किया जा रहा है। अनुच्छेद 370 और 35ए के हटने के बाद से ही पाक हर मोर्च पर कश्मीर के मुद्दे को लेकर विफल साबित हो चुका है। इसलिए वह आतंकियों को कश्मीर में दाखिल करवाकर हालात को खराब करने का प्रयास कर रहा है।
300 से अधिक बार सीज फायर तोड़ा
गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद-370 हटाए जाने से पाकिस्तानी सेना और आईएसआई में बौखलाहट है। इस मसले पर दुनिया के किसी बड़े मुल्क का साथ नहीं मिलने से हताश पाकिस्तान ने नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर 77 दिनों में 300 से अधिक बार सीज फायर तोड़ा है। असल में पाकिस्तान इस गोलीबारी की आड़ में सर्दियां शुरू होने से पहले कश्मीर में आतंकियों की घुसपैठ करना चाहता है। हालांकि, भारतीय सेना की मुस्तैदी से वह अपने इस मकसद में कामयाब नहीं हो पा रहा है।
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