सरकारी अधिकारियों समेत 1,400 वाट्सएप यूजर्स बने थे निशाना, Whatsapp सीईओ ने 2019 के स्पाईवेयर मामले पर कहा
द गार्जियन की रिपोर्ट के मुताबिक कैथकार्ट ने कहा कि पेगासस प्रोजेक्ट डाटा लीक की रिपोर्ट और 2019 में वाट्सएप यूजर्स के खिलाफ हमले की बीच उन्हें समानता नजर आती है। 2019 के हमले को लेकर वाट्सएप ने मुकदमा भी दाखिल कर रखा है।
वाशिंगटन, आइएएनएस। वाट्सएप के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) विल कैथकार्ट का कहना है कि 2019 में इजरायली कंपनी एनएसओ ग्रुप के स्पाईवेयर का इस्तेमाल 1,400 वाट्सएप यूजर्स के खिलाफ किया गया था। इनमें अमेरिका के सहयोगी देशों में राष्ट्रीय सुरक्षा के उच्चपदस्थ व्यक्तियों समेत दुनियाभर के वरिष्ठ सरकारी अधिकारी शामिल थे।
'द गार्जियन' की रिपोर्ट के मुताबिक, कैथकार्ट ने कहा कि पेगासस प्रोजेक्ट डाटा लीक की रिपोर्ट और 2019 में वाट्सएप यूजर्स के खिलाफ हमले की बीच उन्हें समानता नजर आती है। 2019 के हमले को लेकर वाट्सएप ने मुकदमा भी दाखिल कर रखा है। कैथकार्ट ने कहा, उस हमले में हमने जो देखा था और जिसे पराजित किया था, यह रिपोर्ट उससे मेल खाती है। यह बहुत कुछ वैसा है जिसके बारे में हमने तब आवाज उठाई थी। 2019 में निशाना बने वाट्सएप यूजर्स में सौ पत्रकार और मानवाधिकार कार्यकर्ता भी शामिल थे। वाट्सएप यूजर्स में कई ऐसे थे जिनकी निगरानी की कोई जरूरत नहीं थी।
उन्होंने कहा कि यह इंटरनेट सिक्यूरिटी के लिए एक वेकअप काल होनी चाहिए। मोबाइल फोन या तो सभी के लिए सुरक्षित हैं या वे सभी के लिए सुरक्षित नहीं हैं। कैथकार्ट ने एनएसओ के उस दावे पर भी सवाल उठाया कि आंकड़े बढ़ा-चढ़ाकर दर्शाए गए हैं। उन्होंने कहा, वाट्सएप ने 2019 में करीब दो हफ्ते में 1,400 यूजर्स के खिलाफ हमले रिकार्ड किए थे। ये बताते हैं कि लंबी समयावधि और कई वर्षो के कालखंड में हमलों के शिकार लोगों की संख्या काफी अधिक है। जब वाट्सएप कहता है कि उसे विश्वास है कि उसके यूजर्स को निशाना बनाया गया था तो इसका मतलब है कि कंपनी के पास साक्ष्य हैं कि एनएसओ के एक सर्वर ने यूजर्स के डिवाइस पर मालवेयर इंस्टाल करने का प्रयास किया था।
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लाखों क्लबहाउस यूजर्स के फोन नंबर बिक्री के लिए उपलब्ध
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आडियो चैट एप क्लबहाउस के लाखों यूजर्स के फोन नंबर कथित रूप से लीक हो गए हैं और डार्क वेब पर बिक्री के लिए उपलब्ध हैं। खास बात यह है कि इसमें फोन नंबरों के अलावा यूजर्स का और कोई विवरण नहीं है। अग्रणी साइबर सिक्यूरिटी विशेषज्ञ जितेन जैन ने ट्वीट कर बताया कि इसमें यूजर्स की फोनबुक में शामिल लोगों के नंबर भी शामिल हैं, इसलिए इस बात की संभावना अधिक है कि क्लबहाउस में आपकी लागइन नहीं होने के बावजूद आपका नंबर इसमें शामिल हो।
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