West Bengal: एनएचआरसी ने सुंदरवन में मानवाधिकार से जुड़े मामलों पर बंगाल के मुख्य सचिव से मांगी रिपोर्ट
सुंदरवन के निवासियों को मानव-पशु संघर्ष कुपोषण आजीविका की कमी स्वास्थ्य देखभाल प्राथमिक शिक्षा बिजली व पेयजल की कमी समेत कई समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने सुंदरवन में मानवाधिकार से जुड़े दो मामलों पर बंगाल के मुख्य सचिव अलापन बंद्योपाध्याय से रिपोर्ट मांगी है।
कोलकाता , राज्य ब्यूरो। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने सुंदरवन में मानवाधिकार से जुड़े दो मामलों पर बंगाल के मुख्य सचिव अलापन बंद्योपाध्याय से रिपोर्ट मांगी है। सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता व मानवाधिकार कार्यकर्ता राधाकांत त्रिपाठी द्वारा दायर की गई याचिका पर एनएचआरसी ने राज्य प्रशासन से एक्शन टेकन रिपोर्ट (एटीआर) मांगी है। त्रिपाठी ने कहा कि सुंदरवन के निवासियों को मानव-पशु संघर्ष, कुपोषण, आजीविका की कमी, स्वास्थ्य देखभाल, प्राथमिक शिक्षा, बिजली व पेयजल की कमी समेत कई समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। मानवाधिकार रक्षकों पर हमला किया जा रहा है और उन्हेंं धमकियां दी जा रही हैं।
सुंदरवन क्षेत्र के निवासियों को लंबे समय तक उनके मूल मानवाधिकारों से वंचित किया गया है। विश्व धरोहर स्थल सुंदरवन में मानवाधिकारों के मुद्दे के स्थायी समाधान की मांग करते हुए त्रिपाठी ने एनएचआरसी से अनुरोध किया कि वह इस क्षेत्र का दौरा करने, पीडि़तों के साथ बातचीत करने, स्थिति का आकलन करने और उसपर रिपोर्ट तैयार करने के लिए एक टीम भेजे।