West Bengal में स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों में बिना किसी परीक्षा प्रवेश के लिए अपनाई जाएगी नई व्यवस्था

कोलकाता स्थिति महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों और सरकारी जादवपुर विश्वविद्यालय के अधिकारियों ने शनिवार को कहा कि इस साल बंगाल में उच्च माध्यमिक के नतीजे अधिक वैज्ञानिक और तार्किक रहे। स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों में बिना किसी परीक्षा प्रवेश के लिए नई व्यवस्था तैयार करेंगे।

By Vijay KumarEdited By: Publish:Sat, 24 Jul 2021 06:10 PM (IST) Updated:Sat, 24 Jul 2021 06:10 PM (IST)
West Bengal में स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों में बिना किसी परीक्षा प्रवेश के लिए अपनाई जाएगी नई व्यवस्था
स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों में बिना किसी परीक्षा प्रवेश के लिए नई व्यवस्था तैयार करेंगे

राज्य ब्यूरो,कोलकाताः कोलकाता स्थिति महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों और सरकारी जादवपुर विश्वविद्यालय के अधिकारियों ने शनिवार को कहा कि इस साल बंगाल में उच्च माध्यमिक के नतीजे अधिक वैज्ञानिक और तार्किक रहे। उच्च शिक्षण संस्थानों के अधिकारियों ने बताया कि वे आइएससी और सीबीएसई के नतीजे आने के बाद स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों में बिना किसी परीक्षा प्रवेश के लिए नई व्यवस्था तैयार करेंगे।

लेडी ब्रेबोर्न कालेज की प्रधानाचार्य सिउली सरकार ने कहा कि इस साल उच्च माध्यमिक कक्षा के परिणाम अधिक संतुलित और उचित तरीके से वैज्ञानिक मूल्यांकन प्रक्रिया के तहत आने की उम्मीद है और यहां तक कि अगर कोई उम्मीदवार महसूस करता है कि वह आफलाइन परीक्षा में बेहतर किया होता, तो ऐसों की संख्या अधिक नहीं होगी। सरकार ने कहा कि कालेज ऐसी व्यवस्था पर विचार कर रहा है जिसमें वर्ष 2019 में 10वीं की बोर्ड परीक्षा के अंक को प्रवेश के दौरान न्यूनतम अर्हता अंक के साथ संबंधित कला और विज्ञान संकाय के विषयों में महत्व दिया जाए।

स्काटिश चर्च कालेज के प्रवक्ता ने बताया कि उनके संस्थान ने मोटे तौर पर फैसला किया है कि प्रवेश के दौरान उच्च माध्यमिक (12वीं कक्षा) के साथ-साथ 10वीं बोर्ड परीक्षा के अंकों के लिए भारांक दिया जाए। हालांकि, अन्य बोर्ड के नतीजों की समीक्षा के आधार पर अंतिम फैसला लिया जाएगा।

जादवपुर विश्वविद्यालय के वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि संस्थान ने राज्य उच्च शिक्षा विभाग को विज्ञान संकाय के विषयों में प्रवेश के लिए 80:20 का फार्मूला दिया है। उन्होंने बताया कि फार्मूला के तहत 80 फीसद अंक विद्यार्थी को 10वीं और 12वीं कक्षा में किए गए प्रदर्शन के आधार पर देने और शेष 20 फीसद अंक विद्यार्थी के साथ आनलाइन चर्चा, संवाद के आधार पर देने का प्रस्ताव है।

हालांकि, कोई आफलाइन परीक्षा नहीं हो सकती है, ऐसे में हमने उच्च शिक्षा विभाग से इस फार्मूले में उम्मीदवार से आनलाइन चर्चा की व्यवहारिकता पर राय मांगी है, जैसा कि हमारे शिक्षकों और प्रबंधन ने विचार किया है। अधिकारी के मुताबिक अगले सप्ताह शनिवार तक इस मामले पर फैसला ले लिया जाएगा।

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