कलकत्ता उच्च न्यायालय ने नेताई नरसंहार मामले की जांच की प्रगति पर सीबीआइ से रिपोर्ट तलब की
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने नेताई नरसंहार मामले की जांच की प्रगति पर सीबीआइ से रिपोर्ट तलब की है। 14 फरवरी तक सीबीआइ को रिपोर्ट सौंपनी होगी। बताते चलें कि सात जनवरी 2011 को राज्य के झाड़ग्राम के नेताई गांव में हुई गोलीबारी में नौ ग्रामीणों की मौत हो गई थी।
राज्य ब्यूरो, कोलकाता : कलकत्ता उच्च न्यायालय ने नेताई नरसंहार मामले की जांच की प्रगति पर सीबीआइ से रिपोर्ट तलब की है। 14 फरवरी तक सीबीआइ को अपनी रिपोर्ट सौंपनी होगी। बताते चलें कि सात जनवरी 2011 को राज्य के झाड़ग्राम के नेताई गांव में हुई गोलीबारी में नौ ग्रामीणों की मौत हो गई थी। सीबीआइ को मामले की अगली सुनवाई 14 फरवरी को मुख्य न्यायाधीश प्रकाश श्रीवास्तव और न्यायाधीश राजर्षि भारद्वाज की खंडपीठ को अपनी रिपोर्ट सौंपनी होगी।
हालांकि इस घटना में 2014 में सीबीआइ ने 20 लोगों के नाम चार्जशीट दाखिल कर दी थी, लेकिन अभी तक किसी को दोषी नहीं ठहराया गया है। मामला अभी भी हाईकोर्ट में विचाराधीन है। इसे लेकर हाई कोर्ट ने चिंता व्यक्त की है। नेताई नरसंहार की घटना में मारे गए लोगों और घायलों के परिवारों को मुआवजा देने की मांग को लेकर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन की ओर से मामला दर्ज किया गया था। 2013 में कलकत्ता हाई कोर्ट ने सीआइडी से जांच का जिम्मा सीबीआइ को सौंप दिया।
गौरतलब है कि राज्य की तत्कालीन सत्ताधारी वाममोर्चा ने माओवादियों से लड़ने के लिए गांव के प्रत्येक घर से एक सदस्य प्रदान करने का निर्देश दिया था। लेकिन ग्रामीणों ने इस निर्देश का विरोध किया। सात जनवरी 2011 को जब ग्रामीणों ने विरोध करने के लिए क्षेत्र में मार्च किया, तभी हुई गोलीबारी में नौ लोग मारे गए और कम से कम 30 घायल हो गए।घटना में हत्या का आरोप माकपा समर्थित बदमाशों पर लगा था।