मेट्रो ट्रेन के टिकट के लिए अब लंबी कतार में खड़ा होना नहीं पड़ेगा, अब मोबाइल एप से काटिए कोलकाता मेट्रो का टिकट!

आफिस टाइम में मेट्रो ट्रेन के टिकट के लिए अब लंबी कतार में खड़ा होना नहीं पड़ेगा। मोबाइल एप से मेट्रो का टिकट काटा जा सकेगा। कोलकाता मेट्रो यात्रियों की सुविधा के लिए क्यूआर कोड पर आधारित टिकट व्यवस्था शुरू करने जा रहा है।

By Vijay KumarEdited By: Publish:Tue, 30 Nov 2021 05:12 PM (IST) Updated:Tue, 30 Nov 2021 10:58 PM (IST)
मेट्रो ट्रेन के टिकट के लिए अब लंबी कतार में खड़ा होना नहीं पड़ेगा, अब मोबाइल एप से काटिए कोलकाता मेट्रो का टिकट!
मेट्रो ट्रेन के टिकट के लिए अब लंबी कतार में खड़ा होना नहीं पड़ेगा।

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : आफिस टाइम में मेट्रो ट्रेन के टिकट के लिए अब लंबी कतार में खड़ा होना नहीं पड़ेगा। मोबाइल एप से मेट्रो का टिकट काटा जा सकेगा। कोलकाता मेट्रो यात्रियों की सुविधा के लिए क्यूआर कोड पर आधारित टिकट व्यवस्था शुरू करने जा रहा है। दिसंबर की शुरुआत में नई टिकट व्यवस्था शुरू हो जाएगी। कोलकाता मेट्रो सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक इस बाबत दो महीने पहले ही स्मार्ट गेट पर कोड स्कैनर लगाने का काम शुरू हो चुका था।

नोआपाड़ा से कवि सुभाष तक के सभी स्टेशनों पर कोड स्कैनर बैठाने का काम पूरा भी हो चुका है। बरानगर व दक्षिणेश्वर स्टेशनों के परिचालन शुरू करने के समय ही वहां क्यूआर कोड स्कैनर युक्त अत्याधुनिक गेट स्थापित कर दिए गए थे। क्यूआर कोड आधारित टिकट के लिए लोगों को अपने मोबाइल फोन पर कोलकाता मेट्रो का एप रखना होगा। वहां अपना नाम रजिस्टर करवाकर टिकट खरीदा जा सकेगा।

मेट्रो सूत्रों ने बताया कि प्रत्येक स्टेशन के लिए अलग क्यूआर कोड होगा। जिस मोबाइल से टिकट खरीदा जाएगा, सिर्फ उसी मोबाइल से क्यूआर कोड काम करेगा। जिस स्टेशन से यात्री ट्रेन में चढ़ेंगे और जिस स्टेशन में उतरेंगे, उसका नाम एप में लिखना होगा। आलनलाइन किराए का भुगतान करने पर यात्री के मोबाइल में क्यूआर कोड आ जाएगा। उसके बाद गेट के पास जाने पर स्कैनर उस कोड को स्वीकार कर लेगा और गेट खुल जाएगा।

स्टेशन में प्रवेश करने व निकलते समय कोड को स्कैन करना होगा। गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही कोलकाता मेट्रो में टोकन टिकट की व्यवस्था बहाल हुई है, जिसके कारण टिकट काउंटरों पर काफी भीड़ होनी शुरू हो गई है। इस नई टिकट व्यवस्था से लोगों को कतार में खड़े होने से निजात मिलेगा। मेट्रो प्रशासन का मानना है कि युवा पीढ़ी इस नई व्यवस्था को हाथों हाथ लेगी।

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