West Bengal : कोलकाता के चार निजी अस्पतालों ने लौटाया, बच्चे की असहनीय पेट दर्द से मौत

निजी अस्पतालों ने बेड नहीं होने के कारण लौटा दिया। सर्जरी को होने की बात थी लेकिन उससे पहले ही आठ साल के उस बच्चे की मौत हो गई। मृतक की मां ने कहा कि अगर सही समय पर उनके बच्चे का इलाज हो जाता तो उसकी जान बच जाती।

By Preeti jhaEdited By: Publish:Tue, 01 Dec 2020 09:10 AM (IST) Updated:Tue, 01 Dec 2020 09:10 AM (IST)
West Bengal : कोलकाता के चार निजी अस्पतालों ने लौटाया, बच्चे की असहनीय पेट दर्द से मौत
मृतक की मां ने कहा, सही समय पर इलाज होने पर बच जाती उनके बच्चे की जान।

कोलकाता, राज्य ब्यूरो। महानगर के चार निजी अस्पतालों ने बेड नहीं होने के कारण लौटा दिया। आखिर में गत रविवार दोपहर सरकारी एसएसकेएम अस्पताल में बेड मिला। सर्जरी सोमवार को होने की बात थी लेकिन उससे पहले ही आठ साल के उस बच्चे की मौत हो गई। मृतक की मां ने कहा कि अगर सही समय पर उनके बच्चे का इलाज हो जाता तो उसकी जान बच जाती।

शेख तनवीर हुसैन के पेट के निचले हिस्से में तेज दर्द था। उसके शरीर में ऑक्सीजन का स्तर धीरे-धीरे कम हो रहा था। शनिवार दोपहर को परिवार ने बच्चे को अस्पताल में भर्ती करने का फैसला किया। उसे बेलव्यू क्लिनिक, सीएमआरआइ, पार्क क्लिनिक और अंत में इंस्टीच्यूट आफ चाइल्ड हेल्थ ले जाया गया लेकिन कहीं भी बेड खाली नहीं था। इसके बाद परिवार बच्चे को लेकर एसएसकेएम अस्पताल पहुंचा। वहां बेड मिल गया। तत्काल सर्जरी की व्यवस्था की गई। सर्जरी सोमवार को होने वाली थी लेकिन उससे पहले ही रविवार को आधी रात को बच्चे की दर्द सहन नहीं कर पाने की वजह से मृत्यु हो गई।

बच्चे की मां सबीना हुसैन अपने बेटे की मौत को स्वीकार नहीं कर पा रही हैं। उन्होंने कहा कि अगर नर्सिंग होम में सही समय पर इलाज शुरू हो जाता तो उनका बच्चा बच जाता।' इंस्टीच्यूट आफ चाइल्ड हेल्थ के अधिकारियों ने कहा कि वे बच्चे को भरती नहीं कर पाए क्योंकि वाकई में बिस्तर नहीं थे।

हालांकि उन्होंने एक घंटे बच्चे का प्राथमिक उपचार किया था और बच्चे को किसी अन्य अस्पताल में ले जाने की सलाह दी थी। एसएसकेएम अस्पताल के अधीक्षक रघुनाथ मिश्रा ने कहा-'अभी तक मुझे बच्चे के परिवार से कोई शिकायत नहीं मिली है। हमने जल्द से जल्द बच्चे का इलाज शुरू किया था लेकिन दुर्भाग्य से उसे बचाया नहीं जा सका।' 

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