Babul Supriyo Joins TMC: भाजपा सांसद बाबुल सुप्रियो तृणमूल कांग्रेस में हुए शामिल

Babul Supriyo Joins TMC बंगाल के आसनसोल से भाजपा सांसद व पूर्व केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो शनिवार को नाटकीय ढंग से तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। बंगाल में भाजपा के लिए यह एक बड़ा झटका है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Publish:Sat, 18 Sep 2021 03:00 PM (IST) Updated:Sat, 18 Sep 2021 06:53 PM (IST)
Babul Supriyo Joins TMC: भाजपा सांसद बाबुल सुप्रियो तृणमूल कांग्रेस में हुए शामिल
केंद्रीय मंत्री और पूर्व भाजपा सांसद बाबुल सुप्रियो टीएमसी में शामिल। फाइल फोटो

कोलकाता, राज्य ब्यूरो। Babul Supriyo Joins TMC: जुलाई में मोदी मंत्रिमंडल से हटाए जाने के बाद राजनीति से ही संन्यास लेने की घोषणा करने वाले बंगाल के आसनसोल से भाजपा सांसद व पूर्व केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो शनिवार को नाटकीय ढंग से तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) में शामिल हो गए। बंगाल में भाजपा के लिए यह एक बड़ा झटका है। टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे सांसद अभिषेक बनर्जी की मौजूदगी में उन्होंने पार्टी की सदस्यता ग्रहण की। टीएमसी ने बयान जारी कर बताया कि बाबुल पार्टी में शामिल हो गए हैं और हम उनका स्वागत करते हैं। वहीं, टीएमसी में शामिल होने के बाद बाबुल ने कहा कि वह आसनसोल से सांसद पद से भी इस्तीफा दे देंगे।

सोमवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से वह मुलाकात करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि टीएमसी में शामिल होकर अब मैं खुश हूं और राजनीति छोड़ने का मेरा फैसला गलत और भावनात्मक था। वहीं, बाबुल के तृणमूल में शामिल होने के बाद पार्टी के प्रवक्ता कुणाल घोष ने कहा कि अभी आगे-आगे देखिए होता है क्या। भाजपा के कई और नेता टीएमसी में आएंगे। इधर, खबर है कि टीएमसी नेत्री अर्पिता घोष द्वारा हाल में राज्यसभा सदस्य पद से इस्तीफे के चलते खाली हुई सीट से पार्टी बाबुल को संसद भेज सकती है।

जुलाई में राजनीति से संन्यास की घोषणा की थी

पिछले दिनों हुए कैबिनेट विस्तार में मोदी मंत्रिमंडल से हटाए जाने के बाद से ही बाबुल नाराज चल रहे थे। 31 जुलाई को बाबुल ने घोषणा की थी कि वह राजनीति छोड़ रहे हैं। उन्होंने फेसबुक पर एक पोस्ट लिख कहा था कि वे राजनीति में सिर्फ समाजसेवा के लिए आए थे।हालांकि इसके बाद मान मनौव्वल व भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात के बाद बाबुल ने कहा था कि वह एक सांसद के रूप में अपनी संवैधानिक जिम्मेदारियों का निर्वहन करना जारी रखेंगे लेकिन राजनीति से दूर रहेंगे।

पहले कहा किसी पार्टी में शामिल नहीं होगे, फिर बदल दी थी लाइन

राजनीति से संन्यास की घोषणा के वक्त बाबुल ने यह दावा किया था कि वह किसी अन्य पार्टी में शामिल नहीं होंगे, लेकिन कुछ देर बाद ही उन्होंने अपने फेसबुक पोस्ट से 'किसी अन्य पार्टी में शामिल नहीं होंगे' वाला हिस्सा हटा दिया था। ऐसे में अटकलें तेज थी और अब लगभग डेढ़ महीने बीतने के बाद उन्होंने टीएमसी का दामन थाम लिया है।

2014 के चुनाव से ठीक पहले भाजपा में हुए थे शामिल

गायक से राजनीति में आए बाबुल 2014 के लोकसभा चुनाव से ठीक पहले भाजपा में शामिल हुए थे। इसके बाद 2014 में उन्होंने आसनसोल सीट से पहली बार सांसद चुने गए थे और नरेंद्र मोदी की अगुवाई में बनने वाली पहली सरकार में ही उन्हें राज्यमंत्री बनाया गया था। 2019 में भी उन्होंने आसनसोल से लगातार दूसरी बार जीत दर्ज की। इसके बाद उन्हें मोदी सरकार दो में भी मंत्री बनाया गया था। लेकिन जुलाई में हुए कैबिनेट विस्तार में उन्हें मंत्री पद से हटा दिया गया था।

बाबुल ने पार्टी के साथ किया विश्वासघात : भाजपा

दूसरी ओर, प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता शमिक भट्टाचार्य ने कहा कि बाबुल ने पार्टी के साथ विश्वासघात किया है। भाजपा ने उन्हें सब कुछ दिया। पहली बार सांसद बनने के बाद ही उन्हें केंद्र में मंत्री तक बना दिया और इतना सम्मान दिया, बावजूद इसके उन्होंने दल के साथ दगा किया है। दूसरी ओर बंगाल भाजपा के नेता व नेताजी सुभाष चंद्र बोस के पौत्र चंद्र बोस ने कहा- यह इस बात का संकेत है कि बंगाल भाजपा को फिर से संगठित करने की जरूरत है। बंगाल में पार्टी को रिचार्ज करने के लिए गुजरात भाजपा की तरह उसका नए तरीके से गठन करने की आवश्यकता है। वह इस समय हिचकोले खा रही है।

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