कोलकाता रवाना होने से पहले ममता बोलीं- हर दो महीने में दिल्ली आती रहूंगी, लोकतंत्र बचाओ देश बचाओ का दिया नारा

बंगाल विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत के बाद मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सुप्रीमो ममता बनर्जी के पांच दिवसीय दिल्ली दौरे का शुक्रवार को आखिरी दिन था। ममता ने अपने इस दौरे में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी समेत विपक्ष के कई दिग्गज नेताओं के साथ मुलाकात की।

By Vijay KumarEdited By: Publish:Fri, 30 Jul 2021 05:24 PM (IST) Updated:Fri, 30 Jul 2021 05:24 PM (IST)
कोलकाता रवाना होने से पहले ममता बोलीं- हर दो महीने में दिल्ली आती रहूंगी, लोकतंत्र बचाओ देश बचाओ का दिया नारा
कोलकाता रवाना होने से पहले ममता ने पांच दिवसीय दिल्ली दौरे को बताया सफल

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : बंगाल विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत के बाद मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सुप्रीमो ममता बनर्जी के पांच दिवसीय दिल्ली दौरे का शुक्रवार को आखिरी दिन था। ममता ने अपने इस दौरे में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी समेत विपक्ष के कई दिग्गज नेताओं के साथ मुलाकात की। हालांकि एनसीपी प्रमुख शरद पवार से उनकी मुलाकात नहीं हो सकीं। इस बीच कोलकाता रवाना होने से पहले ममता ने दिल्ली में कहा कि उन्होंने कई नेताओं से मुलाकात की और उनका यह दौरा सफल रहा है। अब वह हर दो महीने में दिल्ली आती रहेंगी।

ममता ने विपक्षी एकता पर जोर देते हुए कहा कि देश में लोकतंत्र बने रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि हमारा नारा है 'लोकतंत्र बचाओ, देश बचाओ'। ममता ने कहा कि मैंने एनसीपी प्रमुख शरद पवार से बात की है, अगली बार उनसे मुलाकात करूंगी। कोरोना की वजह से कई नेताओं से मुलाकात नहीं हो पाई।उन्होंने जोर देकर कहा कि मैं हर दो महीने पर अब दिल्ली आऊंगी। ममता ने कृषि कानूनों और पेट्रोल- डीजल की बढ़ती कीमतों के मुद्दे पर मोदी सरकार पर निशाना साधा और कहा कि किसानों के आंदोलन को हमारा पूर्ण समर्थन है।

उल्लेखनीय है कि हाल में संपन्न बंगाल चुनाव में तृणमूल कांग्रेस की ऐतिहासिक जीत और पांच मई को लगातार तीसरी बार मुख्यमंत्री की कुर्सी संभालने के बाद ममता पसली बार पांच दिवसीय दौरे पर 26 जुलाई, सोमवार को दिल्ली पहुंचीं थी।उन्होंने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात की थी।

इसके साथ ही विपक्ष के कई नेताओं से मुलाकात की। दरअसल 2024 के लोकसभा चुनाव के मद्देनजर मोदी सरकार को केंद्र की सत्ता से उखाड़ फेंकने के लिए विपक्षी दलों को एकजुट करने की दिशा में ममता का यह दौरा अहम माना जा रहा है। ममता लगातार विपक्षी एकता पर जोर दे रही है और खुद को इसके नेता के तौर पर स्थापित करने की कोशिश कर रही है।

chat bot
आपका साथी