श्रमिक संगठन के कार्यक्रम में प्रभात की एंट्री

जागरण संवाददाता दुर्गापुर चुनाव नतीजा आने के बाद एक बार फिर श्रमिक संगठन के कार्यक्रम म

By JagranEdited By: Publish:Sun, 13 Jun 2021 10:52 PM (IST) Updated:Sun, 13 Jun 2021 10:52 PM (IST)
श्रमिक संगठन के कार्यक्रम में प्रभात की एंट्री
श्रमिक संगठन के कार्यक्रम में प्रभात की एंट्री

जागरण संवाददाता, दुर्गापुर : चुनाव नतीजा आने के बाद एक बार फिर श्रमिक संगठन के कार्यक्रम में प्रभात चटर्जी की सक्रियता देखी जा रही है, लेकिन तृणमूल श्रमिक संगठन के जिलाध्यक्ष विश्वनाथ पड़ियाल ही नदारद दिख रहे है। विश्वनाथ की गैर मौजूदगी एवं प्रभात की मौजूदगी को लेकर लोगों में भी सवाल उठ रहा है। हालांकि दोनों ही नेता के बीच आपसी विवाद जगजाहिर भी है। चार जून को दुर्गापुर शहर के बांसकोपा स्थित जय बालाजी कारखाने में कोरोनारोधी टीकाकरण अभियान का शुभारंभ हुआ था। जिसमें तृणमूल श्रमिक संगठन की अध्यक्ष दोला सेन पहुंची थी। उस कार्यक्रम में भी दोला सेन के साथ प्रभात चटर्जी को देखा गया था। लेकिन तृणमूल श्रमिक संगठन के जिलाध्यक्ष सह पूर्व विधायक विश्वनाथ गायब थे। दस दिन के अंतराल पर दुर्गापुर इस्पात संयंत्र के तृणमूल ठेका यूनियन की ओर से आमराई गांव में रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया, एक बार फिर श्रमिक संगठन की अध्यक्ष दोला सेन कार्यक्रम में शामिल हुई, जहां प्रभात चटर्जी भी मौजूद थे। लेकिन यहां भी विश्वनाथ पड़ियाल नहीं पहुंचे। जबकि दुर्गापुर पूर्व के विधायक प्रदीप मजूमदार, पांडवेश्वर के विधायक नरेंद्रनाथ चक्रवर्ती, जामुड़िया के विधायक हरेराम सिंह, मेयर दिलीप अगस्ती, तृणमूल कांग्रेस के जिलाध्यक्ष सह पूर्व विधायक अपूर्व मुखर्जी शामिल हुए। ऐसे में एक बार फिर विधानसभा चुनाव समाप्त होने के बाद भी दुर्गापुर में श्रमिक संगठन का अंदरूनी विवाद सतह पर देखा जा रहा है। हालांकि श्रमिक संगठन के जिलाध्यक्ष क्यों शामिल नहीं हुए, यह जानने के लिए उन्हें फोन किया गया, लेकिन मोबाइल बंद होने से उनसे बात नहीं हो सकी।

श्रमिक नियुक्त को प्रभात व विश्वनाथ में देखा गया है मतभेद :

दुर्गापुर के कारखानों में स्थानीय लोगों की नियुक्त को लेकर कई बार तृणमूल श्रमिक संगठन के जिलाध्यक्ष विश्वनाथ पड़ियाल एवं पूर्व जिलाध्यक्ष प्रभात चटर्जी के बीच मतभेद सामने आया है। कई बार विश्वनाथ खुलेआम प्रभात के खिलाफ मोर्चा भी खोल चुके है। हालांकि प्रभात ने हमेशा आपसी द्वंद से इंकार किया है।

चुनाव में भी दोनों नेताओं को एक साथ नहीं देखा गया : तृणमूल कांग्रेस की ओर से श्रमिक संगठन के जिलाध्यक्ष विश्वनाथ पड़ियाल को दुर्गापुर पश्चिम से टिकट दिया गया था। लेकिन भाजपा के सामने उन्हें हार का सामना करना पड़ा। चुनाव प्रचार के दौरान भी दोनों में दूरी देखी गई। शहर के गोपालमाठ इलाके में प्रभात रहते है। जहां विश्वनाथ कई बार चुनाव प्रचार के लिए गए, लेकिन एक बार भी प्रभात को उनके साथ नहीं देखा गया। हालांकि प्रभात का कहना था कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं थी। चुनाव के समय दीवार लेखन में भी असहयोग की बात सामने आयी थी। गोपालमाठ में प्रभात ने एक जुलूस भी निकाला था, उसमें विश्वनाथ शामिल नहीं हुए थे।

दोला सेन के करीबी के रूप में प्रभात की पहचान : तृणमूल कांग्रेस नेता प्रभात चटर्जी को श्रमिक संगठन की अध्यक्ष दोला सेन का करीबी माना जाता है। पिछले वर्ष दुर्गापुर में प्रशासनिक बैठक में भी मुख्यमंत्री ने प्रभात को फटकार लगाई थी एवं श्रमिक संगठन के कार्य में हस्तक्षेप करने से मना किया था। लेकिन एक बार फिर चुनाव बाद श्रमिक संगठन के कार्यक्रमों में प्रभात को देखा जा रहा है एवं विश्वनाथ नदारद है, इस कारण लोगों में सवाल उठ रहा है। हालांकि प्रभात का कहना है कि हमारी नेत्री ममता बनर्जी है, मैं उनका एक सैनिक हूं, पार्टी के अनुशासन में रहकर लोगों का काम करने का प्रयास करता हूं।

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