Yamunotri Yatra 2020: युमनोत्री धाम के कपाट बर्फबारी के बीच शीतकाल के लिए बंद, अब खरसाली में होंगे दर्शन
Yamunotri Yatra 2020 विश्व प्रसिद्ध यमुनोत्री धाम के कपाट भाई दूज के पावन पर्व पर विधि-विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं। यमुना की डोली के मंदिर से बाहर निकलते ही जयकारों से धाम का पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा।
बड़कोट(उत्तरकाशी), जेएनएन। Yamunotri Yatra 2020 विश्व प्रसिद्ध यमुनोत्री धाम के कपाट भाई दूज के पावन पर्व पर विधि-विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं। यमुना की डोली के मंदिर से बाहर निकलते ही जयकारों से धाम का पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा। इसके बाद शनिदेव की अगुआई में पारंपरिक वाद्य यंत्रों के साथ यमुना की डोली शीतकालीन प्रवास खरसाली पहुंची। अब छह माह तक देश-विदेश से आने वाले श्रद्धालु मां के दर्शन खुशीमठ (खरसाली) में ही कर सकेंगे।
भाई दूज के अवसर पर वैदिक मंत्रोच्चार के साथ पारंपरिक विधि-विधान से यमुनोत्री धाम के कपाट बंद होने की प्रक्रिया बर्फबारी के बीच शुरू हुई है। अपनी बहन यमुना को लेने के लिए खरसाली से शनि महाराज की डोली यमुनोत्री पहुंची, जिसके बाद यमुना जी का मुकुट उताराकर 12 बजकर 25 मिनट पर धाम के कपाट बंद किए गए। पारंपरिक वाद्य यंत्रों के साथ मंदिर से शनिदेव की डोली की अगुआई में यमुना की डोली ने यमुनोत्री धाम से शीलकालीन प्रवास खरसाली के लिए प्रस्थान हुई।
शाम को मां यमुना की डोली खरसाली पहुंची, जहां ग्रामीणों ने यमुना भव्य स्वागत किया। तीर्थ पुरोहितों ने शीतकालीन प्रवास स्थल खरसाली के यमुना मंदिर को भव्य रूप से सजाया गया। इस अवसर पर विधायक केदार सिंह रावत, उपजिलाधिकारी चतर सिंह चौहान, यमुनोत्री मंदिर समिति के सचिव कीर्तेश्वर, उपाध्यक्ष जगमोहन उनियाल, पूर्व उपाध्यक्ष पवन उनियाल, नारायण प्रसाद उनियाल, घनश्याम उनियाल, खिलानंद उनियाल, मनमोहन उनियाल, कुलदीप उनियाल, प्रदीप उनियाल आदि मौजूद रहे।
मुखवा पहुंचा गंगा की डोली
गंगोत्री धाम के कपाट 15 नवंबर को शीतकाल के लिए बंद किए गए थे, जिसके बाद रविवार को गंगा की डोली मुखवा के निकट चंडी देवी मंदिर में पहुंची। रात्रि विश्राम के बाद सोमवार दोपहर साढ़े बारह बजे चंडी मंदिर से डोली मुखवा के लिए रवाना हुई और डेढ़ बजे मुखवा स्थित शीतकालीन प्रवास स्थल गंगा मंदिर में पहुंची। इस मौके पर गंगोत्री मंदिर समिति के अध्यक्ष सुरेश सेमवाल, सचिव दीपक सेमवाल, सह सचिव कृतेश्वर सेमवाल आदि मौजूद थे।