गांव में बिजली गुल और सड़क पर पाले का खतरा
बर्फबारी के बाद सीमांत जनपद में अभी हालत सामान्य नहीं हुए हैं
जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी : बर्फबारी के बाद सीमांत जनपद में अभी हालत सामान्य नहीं हुए हैं। बर्फ की चादर के बाद पाले की परत शीशे जैसी बन रही है। गुरुवार की रात को मौसम साफ होने के कारण सीमांत क्षेत्र में जमकर पाला गिरा। जिससे सड़क और पैदल रास्तों पर चलाना खतरेभरा हो रखा है।
जनपद अंतर्गत वर्तमान में 15 से अधिक सड़कें पाला प्रभावित हैं। सीमा सड़क संगठन के जवानों ने शुक्रवार को गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग से बर्फ हटाकर यातायात के लिए सुचारू किया। जिसके बाद धराली और हर्षिल में फंसे पर्यटक निकल सके। इसके अलावा हर्षिल की सैर करने वाले पर्यटक भी पहुंचने लगे हैं। लेकिन, मौसम साफ होने के कारण अब पाला गिरना शुरू हो गया है। पाला अधिक गिरने के कारण सीमांत क्षेत्र में फिसलन का खतरा भी बढ़ गया है। ऐसे में सड़कों पर वाहन चलाना खतरे से खाली नहीं है। वहीं हर्षिल घाटी में तीसरे दिन लगातार बिजली की आपूर्ति ठप रही। जिससे ग्रामीणों के मोबाइल भी बंद पड़े हुए हैं। हर्षिल घाटी के आठ गांव सहित गंगोत्री धाम और आर्मी व आइटीबीपी कैंप में बिजली आपूर्ति बीते बुधवार को ठप हो गई थी। शुक्रवार की शाम तक भी बिजली आपूर्ति सुचारू नहीं हो सकी। इसके चलते ग्रामीणों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
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बिजली आपूर्ति को सुचारू करने के लिए कार्य चल रहा है। इसके अलावा गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग को सुचारू कर दिया गया है। पाले से बचने के लिए वाहन चालकों से सावधानीपूर्वक चलने की अपील की गई है।
देवेंद्र पटवाल, जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी उत्तरकाशी