तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों का गांव सड़क से वंचित

तीन -तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानी और एक राज्य आंदोलनकारी का गांव गांधीनगर सड़क सुविधा से वंचित है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 26 Jul 2021 11:35 PM (IST) Updated:Mon, 26 Jul 2021 11:35 PM (IST)
तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों का गांव सड़क से वंचित
तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों का गांव सड़क से वंचित

संवाद सूत्र, मुनस्यारी: तीन -तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानी और एक राज्य आंदोलनकारी का गांव गांधीनगर अभी तक सड़क से वंचित है। गांव के लिए वर्षो पूर्व स्वीकृत सड़क और हाईस्कूल अभी तक नहीं खुलने से आक्रोशित ग्रामीणों ने वर्ष 2022 के विधानसभा चुनावों के बहिष्कार का निर्णय लिया है। इससे पूर्व ग्रामीण मांगों को आंदोलन करेंगे।

मुनस्यारी विकास खंड का गांधीनगर गांव तीन स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों स्व. नरी राम विश्वकर्मा , स्व. भीम सिंह कुंवर और स्व. दिलीप सिंह भंडारी का गांव है। बिट्रिश सरकार ने गांव के स्वतंत्रता संग्राम सेनानी नरी राम विश्वकर्मा के घर को कुर्क तक कर दिया था। इसी गांव के निवासी स्व. रंजीत विश्वकर्मा राज्य आंदोलनकारी रहे। विडंबना यह है कि गांधीनगर आज तक सड़क से वंचित है। गांव में मात्र एक प्राथमिक विद्यालय है। प्राथमिक शिक्षा के बाद आगे की शिक्षा के लिए पांच किमी दूर जोशा जाना पड़ता है। गांधीनगर से जोशा तक का मार्ग अति दुर्गम और जंगली है। कई बच्चे कक्षा पांच से आगे की शिक्षा लेने से वंचित हो जाते हैं।

गांव तक सड़क निर्माण के लिए वर्ष 2016 में तत्कालीन ग्राम प्रधान एवं शिल्पी विकास समिति के अध्यक्ष बंसत राम आर्य के नेतृत्व में तहसील मुख्यालय में आमरण अनशन किया । इस अवसर पर प्रशासन और जनप्रतिनिधियों ने सड़क स्वीकृत करते हुए अविलंब निर्माण का आश्वासन देकर आंदोलन समाप्त कराया। सड़क स्वीकृत हुए पांच साल बीत गए परंतु सड़क निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं हुआ। सड़क स्वीकृति के बाद सर्वे भी की गई। परंतु निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं हुआ। दो साल तक सड़क निर्माण का कार्य प्रारंभ नही होने पर बसंत राम आर्य के नेतृत्व में फिर से आंदोलन किया गया। 10 नवंबर 2018 को फिर से समझौता हुआ परंतु समझौते पर अमल नहीं किया गया।

वर्ष 2022 करीब आ चुका है। न तो गांव के लिए सड़क निर्माण का कार्य प्रारंभ हुआ और नहीं हाईस्कूल खुला। जिसे लेकर अब ग्रामीण आक्रोशित हैं। हाईस्कू के लिए भी आंदोलन किया गया। 2009 में हाईस्कूल की स्वीकृति हुई और आज तक हाईस्कूल नहीं खुल सका है। जबकि शिक्षा सत्र 2010 से 11 में हाईस्कूल खोलने के लिए आदेश जारी हुए । आदेश जारी होने के बाद भी विद्यालय नहीं खुलने से अब ग्रामीणों का धैर्य भी जबाव दे गय है। ग्रामीणों ने रोड नहीं तो वोट नहीं के नारे के साथ 2022 के चुनाव के बहिष्कार का निर्णय लिया है। शिल्पी विकास समिति के अध्यक्ष बसंत राम आर्य ने कहा है कि विस चुनाव से पूर्व सड़क निर्माण प्रारंभ नहीं होने और विद्यालय नहीं खुलने पर गांव के 138 परिवार चुनाव का बहिष्कार करेंगे। गांव अनुसूचित बाहुल्य है । गांव में नब्बे प्रतिशत लोग एससी वर्ग के हैं।

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