प्राथमिक शिक्षा पूरी करते ही श्वेता ने थाम लिया हाथों में बल्ला

सामान्य परिवार में पैदा हुई श्वेता वर्मा ने भारतीय महिला क्रिकेट टीम में जगह बनाकर ने केवल अपनी मंजिल हासिल की है बल्कि विषम भौगोलिक परिस्थिति वाले पहाड़ की अन्य बालिकाओं को भी राह दिखाई है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 27 Feb 2021 11:00 PM (IST) Updated:Sat, 27 Feb 2021 11:00 PM (IST)
प्राथमिक शिक्षा पूरी करते ही श्वेता ने थाम लिया हाथों में बल्ला
प्राथमिक शिक्षा पूरी करते ही श्वेता ने थाम लिया हाथों में बल्ला

थल, पिथौरागढ़ : प्रतिभा संसाधनों और सुविधाओं की मोहताज नहीं होती। अपने जुनून से वह खुद को साबित कर ही लेती है। इस बात को साबित किया है थल की युवा महिला क्रिकेटर श्वेता वर्मा ने। सामान्य परिवार में पैदा हुई श्वेता ने न केवल अपनी मंजिल हासिल की है बल्कि विषम भौगोलिक परिस्थिति वाले पहाड़ की अन्य बालिकाओं को भी राह दिखाई है।

थल कस्बे की श्वेता ने प्रारंभिक शिक्षा स्थानीय सरस्वती शिशु मंदिर से ग्रहण की। परिवार के सदस्यों को टीवी पर क्रिकेट के मैच देखते हुए उनमें इस खेल के प्रति जुनून पैदा हुआ। प्रारंभिक शिक्षा पूरी होते ही उन्होंने अपने हाथों में बल्ला थाम लिया। हमउम्र लड़कियों को क्रिकेट में कोई रुचि नहीं थी तो उन्होंने लड़कों के साथ क्रिकेट खेलनी शुरू कर दी। गांव में होने वाली क्रिकेट प्रतियोगिताओं में वह हिस्सेदारी करने लगी। इंटर की पढ़ाई के बाद तो उनमें क्रिकेट को लेकर जुनून सवार हो गया। उच्च शिक्षा ग्रहण करने के लिए वह अल्मोड़ा पहुंची। उन्होंने महाविद्यालय स्तर पर अपनी प्रतिभा दिखानी शुरू की। वहां क्रिकेट कोच लियाकत अली ने उनके नैसर्गिक खेल को देखा तो उनमें छिपी प्रतिभा को पहचान लिया। उन्होंने चार वर्ष तक उन्हें क्रिकेट की बारीकियां सिंखाई। इस दौरान तमाम प्रतियोगिताओं में शिरकत करने के साथ ही वह उत्तर प्रदेश की टीम से क्रिकेट खेलने लगी। इसके बाद उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा।

हाइलेंडर्स क्रिकेट एकेडमी काशीपुर में प्रशिक्षण लेते हुए वह इंडिया ए टीम में सलेक्ट हुई। श्वेता ने भारतीय क्रिकेट टीम को अपना लक्ष्य बना रखा था। 24 वर्ष की श्वेता ने शनिवार को अपना मुकाम हासिल कर लिया। श्वेता सात मार्च से लखनऊ में दक्षिण अफ्रीका की टीम के साथ पांच मैचों की वनडे सीरीज खेलेंगी।

श्वेता के पिता मोहन लाल वर्मा का दो वर्ष पूर्व निधन हो गया। उनकी माता कमला वर्मा आंगनबाड़ी कार्यकर्ता हैं और बेटी को पूरा खर्च वह अपनी मेहनत से जुटा रही हैं। उन्होंने बेटी के सपनों को पूरा करने में कभी भी आर्थिक संसाधनों कमी आड़े नहीं आने दी।

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खेलों में आगे आएं राज्य की बालिकाएं

थल : भारतीय महिला क्रिकेट टीम में स्थान बनाने वाली श्वेता वर्मा का कहना है कि उत्तराखंड की बालिकाओं में खासी प्रतिभा और क्षमता है। उन्हें खेलों का सही प्रशिक्षण दिए जाने की आवश्यकता है। उनका कहना है कि दूरदराज के क्षेत्रों में खेल सुविधाओं का विस्तार हो तो कई प्रतिभाएं सामने आ सकती हैं। उन्होंने कहा पिथौरागढ़ जिले की महिला पर्वतारोहियों से उन्हें खासी प्रेरणा मिलती रही है।

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मिठाई बांट कर मनाया जश्न

थल : श्वेता वर्मा के भारतीय टीम में चयनित होने की जानकारी मिलते ही थल कस्बे में खुशी की लहर दौड़ गई। लोगों ने मिष्ठान वितरित कर कहा कि श्वेता ने अपनी प्रतिभा से थल क्षेत्र को राष्ट्रीय स्तर पर गौरवान्वित किया है। सामाजिक कार्यकर्ता दिनेश पाठक, प्रवीण जंगपांगी, मोहित वर्मा, वंदना वर्मा, दीया वर्मा, सुरेंद्र पांगती, सलीम अहमद, गंगा मेहता, कृष्णा गोस्वामी, नीरज जोशी, भूपेंद्र पांगती ने कहा है कि श्वेता की सफलता पहाड़ की अन्य बालिकाओं को भी प्रेरणा मिलेगी।

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