अगस्त क्रांति दिवस पर सेनानियों का हुआ नमन
अगस्त क्रांति दिवस पर उत्तराखंड स्वतंत्रता सेनानी एवं उत्तराधिकारी संगठन ने सेनानियों के योगदान को याद करते हुए उनका नमन किया।
पिथौरागढ़, जेएनएन: अगस्त क्रांति दिवस पर उत्तराखंड स्वतंत्रता सेनानी एवं उत्तराधिकारी संगठन ने सेनानियों के योगदान को याद करते हुए उनका नमन किया।
नया बाजार स्थित स्व. सेनानी गंगादत्त शर्मा भवन में सीमित संख्या में एकत्र हुए सदस्यों ने दीप प्रज्जवलित कर कार्यक्रम की शुरू आत की। इस अवसर पर संगठन के अध्यक्ष केडी भट्ट ने कहा कि सीमांत जिले के स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने देश की आजादी में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया। उन्होंने सिमलकोट गांव निवासी जमन सिंह वल्दिया के बेगार प्रथा के विरोध की जानकारी दी। अन्य वक्ताओं ने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानी देश के लिए हमेशा प्रेरणास्रोत बने रहेंगे। कार्यक्रम में सचिव मनोहर सिंह खाती, डा.जीके शर्मा, रमेश चंद्र शर्मा, मनोहर खाती, पवन सिंह खाती, दीवान सिंह वल्दिया, चंचल सिंह खड़ायत आदि मौजूद थे।
डीडीहाट: अगस्त क्रांति दिवस पर तहसील के कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने शहीद स्मारक पहुंचकर शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। सेनानियों के योगदान को याद करते हुए कहा कि उनके त्याग और बलिदान से ही आजादी संभव हो पाई। आजादी को अक्षुण बनाए रखने की जिम्मेदारी वर्तमान पीढ़ी की है। प्रदीप पाल, ललित भंडारी, कविंद्र साही, प्रकाश बोरा, राजू बोरा, त्रिलोक बिष्ट, हिमांशु चुफाल आदि शामिल थे।
पिथौरागढ़: अगस्त क्रांति दिवस पर नगर के तिलढुकरी स्थित कांग्रेस कार्यालय में श्रद्धांजलि कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें देश की आजादी की लड़ाई में अपने प्राणों की आहुति देने वाले वीर सपूतों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। कार्यक्रम में कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष मयूख महर, जिलाध्यक्ष त्रिलोक महर, विधायक हरीश धामी, मथुरा दत्त जोशी, मुकेश पंत, रजत विश्वकर्मा, बद्री सामंत, मनोज कुमार, शाहबाज खान, हिमांशु ओझा, खीमराज जोशी, कार्तिक खर्कवाल, गौरव चंद, योगेश नगरकोटी, रोहन सौन, जगदीश बिष्ट, हीरा सिंह बिष्ट, शंकर खड़ायत आदि शामिल थे।
मुनस्यारी: यहां स्वतंत्रता संग्राम सेनानी स्मारक पर दीप प्रज्ज्वलित कर शहीदों को श्रद्धाजलि अर्पित की गई। साथ ही आजादी के दीवानों को याद करते हुए नया मुनस्यारी बनाने का संकल्प भी लिया गया। इस मौके पर जिपं सदस्य जगत मर्तोलिया, ऊषापति द्विवेदी, हेमा पांगती, विमला द्विवेदी, नंदा धर्मशक्तू, मथुरा मर्तोलिया, चंद्रा मर्तोलिया, भागीरथी जंगपांगी, गंगोत्री रिलकोटिया, नीमा देवी, नीतू बृजवाल आदि मौजूद रहे।