थम नहीं रहा पॉलीथिन का प्रयोग

पॉलीथिन के प्रयोग पर रोक लगाने के लिए कई जागरुकता कार्यक्रम चलाए गए। साथ ही अफसरों ने भी अधीनस्थों को इस संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 19 Nov 2019 06:11 PM (IST) Updated:Tue, 19 Nov 2019 06:11 PM (IST)
थम नहीं रहा पॉलीथिन का प्रयोग
थम नहीं रहा पॉलीथिन का प्रयोग

संवाद सहयोगी, कोटद्वार: पॉलीथिन के प्रयोग पर रोक लगाने के लिए कई जागरुकता कार्यक्रम चलाए गए। साथ ही अफसरों ने भी अधीनस्थों को इस संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। बावजूद इसके नगर निगम क्षेत्र में लगातार पॉलीथिन का प्रयोग हो रहा है। आलम यह है कि अब तक दुकानदार व ठेली-रेहड़ी वाले लाखों रुपये का जुर्माना भर चुके हैं, लेकिन वे कपड़े का थैला लेने से गुरेज कर रहे हैं।

पॉलीथिन पर प्रतिबंध है। शुरुआत में लगातार अभियान व जागरुकता कार्यक्रम चलाने की वजह से पॉलीथिन का प्रयोग कम हो गया था। हालांकि धीरे-धीरे फिर से पॉलीथिन का प्रयोग शुरू होने लगा है। स्थिति यह है कि झंडा चौक, बदरीनाथ मार्ग, स्टेशन रोड व देवी रोड समेत अन्य जगहों पर दुकानदार व ठेली-रेहड़ी वाले लगातार ग्राहकों को पॉलीथिन में सामान दे रहे हैं। वहीं, जागरुकता के अभाव में ग्राहक भी पॉलीथिन में ही सामान खरीदकर ला रहे हैं। बहुत कम संख्या में ही दुकानदार व ग्राहक कपड़े के थैले का प्रयोग कर रहे हैं। आंकड़ों पर नजर डालें, तो निगम प्रशासन अब तक पॉलीथिन का प्रयोग करने पर करीब दो लाख रुपये का जुर्माना वसूल चुका है। अभियान में 187 किलोग्राम पॉलीथिन भी जब्त की गई है। साथ ही सैकड़ों चालान भी किए गए हैं। इसके बावजूद पॉलीथिन के प्रयोग पर रोक नहीं लग पा रही है। हालांकि नगर निगम प्रशासन प्रतिदिन अभियान चलाने की बात करता है।

पॉलीथिन से भरे रहते हैं कूड़े के ढेर

शहर में कूड़े के ढेर पॉलीथिन से भरे रहते हैं। वहीं, नालियों में भी पॉलीथिन दिखाई देती है। कूड़े के ढेर में बिखरी पॉलीथिन को पशु खा रहे हैं, जो पशुओं के लिए नुकसानदायक होती है।

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पॉलीथिन के विरुद्ध लगातार अभियान चलाया जा रहा है। किसी भी सूरत में निगम क्षेत्र में पॉलीथिन का प्रयोग नहीं होने दिया जाएगा।

राजेश नैथानी, सहायक नगर आयुक्त, नगर निगम कोटद्वार

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