पुराने भवनों से कर वसूलने की तैयारी में नगर निगम

नगर निगम व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने की तैयारी में है। हालांकि नगर निगम में शामिल हुई 35 ग्रामसभाओं में निर्मित व्यवसायिक भवनों से कर नहीं लिया जाएगा। नगर निगम ने तत्कालीन नगर पालिका क्षेत्र में शामिल ग्यारह वार्डों में स्थित व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 11 Oct 2021 05:29 PM (IST) Updated:Mon, 11 Oct 2021 05:29 PM (IST)
पुराने भवनों से कर वसूलने की तैयारी में नगर निगम
पुराने भवनों से कर वसूलने की तैयारी में नगर निगम

जागरण संवाददाता, कोटद्वार: नगर निगम व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने की तैयारी में है। हालांकि, नगर निगम में शामिल हुई 35 ग्रामसभाओं में निर्मित व्यवसायिक भवनों से कर नहीं लिया जाएगा। नगर निगम ने तत्कालीन नगर पालिका क्षेत्र में शामिल ग्यारह वार्डों में स्थित व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी है।

कोटद्वार क्षेत्र में पहली मर्तबा व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने की प्रक्रिया शुरू की गई है। नगर पालिका कार्यकाल के दौरान पालिका क्षेत्र में शामिल 11 वार्डों में व्यवसायिक भवनों से भी गृह कर ही लिया जाता था, लेकिन शासन की ओर से पूर्व में जारी एक अधिसूचना के आधार पर नगर निगम ने 22 अक्टूबर 2020 को व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने के संबंध में सार्वजनिक सूचना जारी की। इस सूचना के अनुसार नगर निगम क्षेत्र में शामिल सभी चालीस वार्डों में व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूले जाने का प्रावधान किया था। हालांकि, मई 2021 में शासन ने नगर निगम में शामिल किए गए नवीन क्षेत्रों में स्थित व्यवसायिक प्रतिष्ठानों से अगले दस साल तक संपत्ति कर न वसूलने के आदेश जारी कर दिए। शासन से जारी निर्देशों के बाद अब नगर निगम ने पूर्व के ग्यारह वार्डों में स्थित व्यवसायिक भवनों से संपत्ति कर वसूलने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। व्यवसायिक भवन स्वामियों को अपने प्रतिष्ठानों का कुल क्षेत्रफल बताने को कहा गया है।

आपत्तियों पर होगी सुनवाई

नगर निगम के कर निर्धारण अधिकारी उत्तम सिंह नेगी ने बताया कि ग्यारह वार्डों में व्यवसायिक भवनों पर संपत्ति कर लगाए जाने को लेकर करीब 70 आपत्तियां प्राप्त हुई है। आपत्तियों पर सुनवाई की प्रक्रिया जारी है। सुनवाई पूरी होने के बाद कर निर्धारण की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।

दो करोड़ की राजस्व क्षति

नगर निगम में शामिल 35 ग्रामसभाओं में स्थित व्यवसायिक भवनों पर संपत्ति कर न लगाए जाने से नगर निगम को प्रतिवर्ष करीब दो करोड़ की राजस्व क्षति होगी। बताना जरूरी है कि निगम में शामिल नए क्षेत्रों में स्थित व्यवसायिक भवनों से अगले दस साल तक कोई टैक्स नहीं लिया जाना है। नगर निगम की ओर से किए गए एक सर्वे के अनुसार निगम में शामिल 35 ग्रामसभाओं में पांच हजार से अधिक व्यापारिक प्रतिष्ठान हैं।

संदेश : 11 कोटपी 1

कोटद्वार नगर निगम कार्यालय, जहां से ग्यारह वार्डों में स्थित व्यवसायिक भवनों पर टैक्स लगाने की तैयारी है।

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