जगह-जगह भूस्खलन, दांव पर जिदगी
यदि आप कोटद्वार से रामणी पुलिडा के मध्य सफर कर रहे हैं तो जरा सावधान हो जाएं। दरअसल बरसात के दौरान मार्ग पर भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। जगह-जगह पहाड़ी पर गिर रहे बोल्डर कब किसकी जान पर भारी पड़ जाएं कुछ कहा नहीं जा सकता।
संवाद सहयोगी, कोटद्वार: यदि आप कोटद्वार से रामणी पुलिडा के मध्य सफर कर रहे हैं, तो जरा सावधान हो जाएं। दरअसल, बरसात के दौरान मार्ग पर भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। जगह-जगह पहाड़ी पर गिर रहे बोल्डर कब किसकी जान पर भारी पड़ जाएं, कुछ कहा नहीं जा सकता। हालत यह है कि पूरे मार्ग पर एक दर्जन से अधिक डेंजर जोन बने हुए हैं।
रविवार देर शाम कोटद्वार निवासी धीरज सिंह अपनी मोटरसाइकिल से रामणी गांव की ओर जा रहे थे। इसी दौरान कोटद्वार-रामणी मार्ग के मध्य उनकी मोटरसाइकिल से करीब सौ मीटर आगे बड़ा पत्थर पहाड़ी से लुढ़कता हुआ सड़क पर आ गिरा। धीरज ने तत्काल अपनी मोटरसाइकिल रोक ली। पांच मिनट तक जब कोई बोल्डर नहीं गिरा तो धीरज गांव के लिए रवाना हुए। कोटद्वार से रामणी तक करीब बाइस किलोमीटर के इस मार्ग पर यह पहली घटना नहीं है। दरअसल, मार्ग पर आए दिन इस तरह की घटनाएं सामने आ रही हैं। जगह-जगह पहाड़ी से गिर रहा बोल्डर आमजन के लिए खतरा बना हुआ है। हालांकि, सड़क पर मलबा आने की सूचना के बाद लोक निर्माण विभाग उसे तुरंत जेसीबी से हटा दे रहा है।
सड़क भी बदहाल
कोटद्वार से रामणी-पुलिडा सहित अन्य गांव को जोड़ने के लिए वर्षों पूर्व सड़क निर्माण करवाया गया था। कुछ वर्ष पूर्व एडीबी ने इस सड़क का जीर्णोद्धार भी किया। लेकिन, वर्तमान में देखरेख के अभाव में यह सड़क बदहाल स्थिति में पहुंच चुकी है। स्थिति यह है कि कई स्थानों पर सड़क के पुश्ते खोखले हो गए हैं। कुछ दिन पूर्व सड़क धसने से एक कार खाई में भी गिर गई थी, जिसमें दो व्यक्तियों की जान चली गई थी। बावजूद इसके सिस्टम ने सड़क मरम्मत की सुध नहीं ली। कोटद्वार-रामणी मार्ग की बदहाली के संबंध में शासन को प्रस्ताव भेजा हुआ है। बजट मिलते ही सड़क मरम्मत का कार्य शुरू कर दिया जाएगा।
..निर्भय सिंह, अधिशासी अभियंता, लोक निर्माण विभाग