रुद्रपुर के एसबीएस कालेज में स्थापित वर्चुअल लैब साबित हो रही मील का पत्थर

एसबीएस कालेज उत्तराखण्ड राज्य का पहला राजकीय महाविद्यालय है जिसे आइआइटी दिल्ली ने वर्चुअल लैब नोडल सेंटर बनाया गया है। बताया कि वर्चुअल लैब मुख्य रूप से प्रयोगात्मक विषयों को समझने में मील का पत्थर साबित हुई हैं।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Fri, 20 Aug 2021 05:43 PM (IST) Updated:Fri, 20 Aug 2021 05:43 PM (IST)
रुद्रपुर के एसबीएस कालेज में स्थापित वर्चुअल लैब साबित हो रही मील का पत्थर
शिक्षक भी खुद को अपग्रेड करते रहेंगे तो समाज में एक नया परिवर्तन देखने को मिलेगा

जागरण संवाददाता, रुद्रपुर : एसबीएस डिग्री कालेज में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली की ओर से वर्चुअल लैब पर आयोजित कार्यशाला में मुख्य वक्ता आइआइटी दिल्ली के फील्ड एक्सपर्ट प्रतीक शर्मा एवं शिवम सुंदरम ने बताया कि एसबीएस कालेज उत्तराखण्ड राज्य का पहला राजकीय महाविद्यालय है जिसे आइआइटी दिल्ली ने वर्चुअल लैब नोडल सेंटर बनाया गया है। बताया कि वर्चुअल लैब मुख्य रूप से प्रयोगात्मक विषयों को समझने में मील का पत्थर साबित हुई हैं।  

सरदार भगत सिंह राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय कार्यशाला का शुभारंभ प्राचार्य प्रो कमल किशोर पांडे ने किया। कहा कि कोरोना वैश्विक महामारी ने ई-कंटेंट और डिजिटल शिक्षा के महत्व को बढ़ाया है। हमें डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करना है। अब समय फ्लिप फ्लॉप रूम और वर्चुअल लैब का है। यह सब समय की मांग है। इससे विद्यार्थियों को बेहतर शिक्षा मिलेगी। शिक्षक भी खुद को अपग्रेड करते रहेंगे तो समाज में एक नया परिवर्तन देखने को मिलेगा कार्यशाला के आयोजक एवं वर्चुअल लैब नोडल सेंटर के समन्वयक डॉ भारत पांडे ने सभी प्रतिभागियों आमंत्रित वक्ताओं का परिचय कराया।

मुख्य वक्ता प्रतीक ने बताया कि वर्कशॉप का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों एवं शोधार्थियों की जिज्ञासा जगाकर प्रयोग करने के लिए उत्साहित करना है। वर्चुअल लैब्स एक संपूर्ण लर्निंग मेनेजमेंट सिस्टम प्रदान करता है, जहां छात्र छात्राएं वेब संसाधन, वीडियो व्याख्यान, एनिमेटेड प्रदर्शन और आत्म मूल्यांकन सहित सीखने के विभिन्न उपकरणों का लाभ उठा सकते हैं।

इस कार्यशाला में देश के विभिन्न महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालयों के 300 छात्र छात्राओं, शोधार्थिओं एवं प्राध्यापकों सहित आइआइटी दिल्ली, क़्वांटम इंस्टिट्यूट रूड़की, पंतनगर विश्वविद्यालय आदि के एलुमिनाई ने प्रतिभाग किया। कार्यशाला का संचालन आयोजक सचिव डॉ गौरव वार्ष्णेय ने किया। इस मौके पर डॉ एके पालीवाल, डा. मनीषा तिवारी, डा. शलभ गुप्ता, डा. दीपक दुर्गापाल, डा. राजेश कुमार मौजूद थे।

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