कार्बेट टाइगर रिजर्व के वन शहीदों के बारे में जानेंगे पर्यटक, गेट पर लगाया गया शिलापट
कार्बेट टाइगर रिजर्व में वन्य जीवों की सुरक्षा में बलिदान देने वाले वन कर्मियों के बारे में भी अब पर्यटक जान सकेंगे। सीटीआर द्वारा कार्बेट टाइगर रिजर्व के गेट पर सर्वोच्च बलिदान देने वाले वन कर्मियों का शिलापट लगाया गया है।
रामनगर, जगरण संवाददाता : कार्बेट टाइगर रिजर्व में वन्य जीवों की सुरक्षा में बलिदान देने वाले वन कर्मियों के बारे में भी अब पर्यटक जान सकेंगे। सीटीआर द्वारा कार्बेट टाइगर रिजर्व के गेट पर सर्वोच्च बलिदान देने वाले वन कर्मियों का शिलापट लगाया गया है। कार्बेट टाइगर रिजर्व में घने जंगलों में हिंसक वन्य जीवों की मौजूदगी के बीच अक्सर वनकर्मी पैदल गश्त करते हैं। उनकी सुरक्षा की वजह से ही शिकारियों की घुसपैठ की घटनाएं नाकाम हो जाती है। हालांकि इस दौरान हिंसक वन्य जीवों की वजह से कई वनकर्मी जान तक गंवा चुके हैं।
कार्बेट में 12 फॉरेस्ट वर्कर शहीद
38 साल के भीतर कार्बेट में 12 फॉरेस्ट वर्कर वन्य जीवों की सुरक्षा करने में मारे गए हैं। उन्हें सम्मान देते हुए कार्बेट ने शहीद का दर्जा दिया है। ऐसे ही ड्यूटी के दौरान बलिदान देने वाले 12 वन कर्मियों की सूची विभाग द्वारा ढिकाला के पर्यटन गेट धनगढ़ी में लगाई गई है। ताकि ढिकाला जाने वाले पर्यटक गेट पर ही शहीद हुए वन कर्मियों के बारे में जान सकें। कार्बेट पार्क के पार्क वार्डन आरके तिवारी ने बताया कि कोई कार्यक्रम होने पर शहीद हुए वन कर्मियों को श्रद्धांजलि देकर याद किया जाता है। दूसरा पर्यटक भी वन्य जीवों की सुरक्षा में जान गंवाने वाले वन शहीदों के बारे में जान सकें।
कार्बेट टाइगर रिजर्व के वन शहीद
शहीद मृत्यु वर्ष
कुक्कू हवाड चाराकटर 1982
मुसदि सिंह चौहान वन आरक्षी 1988
विपिन चंद्र पांडे उपराजि 2001
दीवानी राम दैनिक श्रमिक 2012
राकेश कुमार दैनिक श्रमिक 2013
कृष्ण पाल सिंह श्रमिक 2016
हरी राम दैनिक श्रमिक 2016
वीर सिंह दैनिक श्रमिक 2016
सोन सिंह दैनिक श्रमिक 2019
विसन राम दैनिक श्रमिक 2019
राजेश नेगी वन आरक्षी 2019