काशीपुर में कृषि कानून के विरोध में नष्ट की तीन एकड़ फसल
किसान अवतार सिंह ने कृषि कानून वापस नहीं लेने पर दो एकड़ में फैली अपनी गेहूं की फसल ट्रैक्टर के हैरो से नष्ट कर दी। इसका पता चलने पर मौके पर पहुंच क्षेत्र के किसान नेताओं ने किसान को समझाया-बुझायालेकिन तब तक फसल बर्बाद हो चुकी थी।
जागरण संवाददाता, काशीपुर : कृषि कानून वापस नहीं लेने के विरोध में दो किसानों ने तीन एकड़ में फैली गेहूं, मूली व मैंथी की फसल को ट्रैक्टर के जरिये हैरो से रौंद दिया। इधर, जैसे ही किसान व भाकियू नेताओं को घटना की जानकारी मिली, गांव पहुंच उन्होंने आक्रोशित किसानों को समझाने का प्रयास किया।
शुक्रवार सुबह ग्राम बांसखेड़ा खुर्द निवासी किसान अवतार सिंह ने कृषि कानून वापस नहीं लेने पर दो एकड़ में फैली अपनी गेहूं की फसल ट्रैक्टर के हैरो से नष्ट कर दी। इसका पता चलने पर मौके पर पहुंच क्षेत्र के किसान नेताओं ने किसान को समझाया-बुझाया,लेकिन तब तक फसल बर्बाद हो चुकी थी। वहीं, इसी गांव के किसान कुलवंत ङ्क्षसह ने भी लगभग तीन एकड़ में बोई मैथी व मूली की फसल को नष्ट करने के लिए ट्रैक्टर चला दिया। जब तक किसान उन्हें रोकने का प्रयास करते, वह लगभग एक एकड़ फसल रौंद चुके थे। आंदोलन का 94वें दिन भी कोई हल नहीं निकलने पर आक्रोशित किसानों ने उक्त कदम उठाया।
वहीं, भाकियू प्रदेश अध्यक्ष कर्म सिंह पड्डा व भाकियू युवा के प्रदेश अध्यक्ष रङ्क्षवद्र सिंह राणा ने किसान अवतार सिंह व कुलवंत सिंह को काफी समझाया। उन्होंने कहा कि कृषि कानून वापस लेने के लिए अन्य तरीके से विरोध करना होगा। उन्होंने खून-पसीने की कमाई से बोई फसलों को नष्ट करना अनुचित करार दिया। कहा कि अन्नदाता अपनी फसल को अपने हाथों बर्बाद नहीं कर सकता है। इस मौके पर हरप्रीत सिंह, राजू छीना, हैप्पी ङ्क्षसह, बबा प्रताप सिंह, कुलवंत सिंह, गुरमेल सिंह, कुलवंत यादव समेत बड़ी संख्या में किसान मौजूद थे।
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