दस दिन में 25 टन कचरे से दस क्विंटल जैविक खाद तैयार

जासं हल्द्वानी ट्रंचिंग ग्राउंड के कचरे से खाद तैयार होने लगी है। पिछले दस दिनों में 25 टन कचरे से दस क्विंटल जैविक खाद तैयार बनाई जा चुकी है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Oct 2020 07:07 PM (IST) Updated:Wed, 21 Oct 2020 07:07 PM (IST)
दस दिन में 25 टन कचरे से दस क्विंटल जैविक खाद तैयार
दस दिन में 25 टन कचरे से दस क्विंटल जैविक खाद तैयार

जासं, हल्द्वानी: ट्रंचिंग ग्राउंड के कचरे से खाद तैयार होने लगी है। पिछले दस दिनों में 25 टन कचरे से दस क्विंटल जैविक खाद तैयार बनाई जा चुकी है। हालांकि प्रगति काफी धीमी है, मगर नगर निगम प्रशासन के प्रयासों की सराहना हो रही है।

ट्रंचिंग ग्राउंड में सैकड़ों टन कचरे का पहाड़ खड़ा है। पिछले पांच वर्षों से अधिक समय से कूड़ा डाला जा रहा है। निगम ने कूड़े से प्लास्टिक, गत्ते, बोतल आदि कबाड़ बीनने वाले 60 लोगों से रोजाना दो घंटे गीले कचरे से खाद तैयार करने का करार किया है। यह लोग ट्रंचिंग ग्राउंड में रोजाना आने वाले 200 टन से अधिक कचरे से कबाड़ एकत्र करते हैं। जिसे बेचकर इसकी आय होती है। यह कामगार रोजाना दो घंटे पुराने कचरे को छानकर खाद अलग करने का काम करते हैं। जिसे दो चरणों में छानने के बाद जैविक खाद तैयार हो रही है। पहले एक गुणा डेढ़ इंच की छलनी में कूड़े को छाना जाता है। दूसरी बार में चार मिमी की छलनी में छानने के बाद खाद अलग की जाती है। ऐसे तो समाप्त नहीं होगा कूड़े का पहाड़

कचरे को छानने के लिए लोहे के एंगल पर जाली लगाई गई है। जाली और एंगल के बीच स्प्रिंग लगे हैं। जिससे उसे हिलाने में आसानी होती है। दस दिनों में कामगार 25 टन कचरे को छानकर दस क्विंटल खाद अलग कर पाए हैं। इस गति से एक माह में 75 टन और एक साल में 900 टन कचरा ही साफ हो पाएगा। जबकि ट्रंचिंग ग्राउंड में अकेले हल्द्वानी से रोजाना 135 टन कचरा जाता है। कचरे से खाद बनाने के लिए मशीन स्थापित करने को बड़ी पूंजी की जरूरत है। कचरे से मैनुअली खाद बनाने की दिशा में हमने एक प्रयास किया है। शुरुआती नतीजे अच्छे हैं। हम खाद बेचने के लिए बाजार में लोगों से संपर्क कर रहे हैं।

-डा. मनोज कांडपाल, नगर स्वास्थ्य अधिकारी

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