नैनीताल में ओक प्रजाति पर संकट, बेहिसाब खंती व तालाब बनाने पर पद्मश्री साह ने उठाये सवाल
पद्मश्री अनूप साह ने वीडियो जारी किया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि वन विभाग ने ऐसा कर जैव विविधता को नुकसान पहुंचाया है। यह धन के दुरुपयोग का मामला है। ऐसे स्थान पर कच्चे तालाब बनाये हैं जहां पर बारिश में पानी आने कि कोई संभावना नहीं है।
जागरण संवाददाता, नैनीताल : नैना देवी बर्ड रिजर्व क्षेत्र में ओक प्रजाति के बांज, रयांज व अन्य प्रजाति पर खतरा मंडरा रहा है। दावानल के साथ ही अन्य वजहों से नए पौधे नष्ट हो रहे हैं। अब वन विभाग ने इस इलाके में जल संरक्षण के अंतर्गत बेहिसाब खंती व तालाब बना दिये हैं। इस पर पद्मश्री अनूप साह ने वीडियो जारी कर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे स्थान पर तालाब व खंतियाँ बना दी, जहां बरसात में भी पानी नहीं रुकेगा। इन तालाबों में पानी के लिए कोई स्रोत नहीं है। इससे जैव विविधता पर संकट आ सकता है।
दरअसल, नैनीताल के नगरपालिका रेंज, नैना रेंज, कोसी रेंज में ओक प्रजाति के पेड़ यहां की जैव विविधता के सबसे बड़े संरक्षक हैं। ओक प्रजाति के बांज, फलयांत, खरसू, रियांज के जंगलों की वजह से यहां पानी के स्रोतों की कमी नहीं है। अब वन विभाग ने नैना देवी बर्ड रिजर्व में बड़े पैमाने पर जल संरक्षण के काम करते हुए कच्चे तालाब व खंती बनाये हैं। हिमालय दर्शन से लेकर किलबरी कुंजखड़क तक, मंगोली तक ओक प्रजाति के जंगल ही इस क्षेत्र की पहचान हैं।
वन विभाग ने जल संरक्षण के कार्यो के साथ ही चायना पीक चोटी के आसपास ट्रीटमेंट काम भी कराए हैं। इसके तहत कच्चे तालाब व खंती बनाई हैं। पद्मश्री अनूप साह ने इस इलाके का दौरा कर वीडियो जारी किया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि वन विभाग ने ऐसा कर जैव विविधता को नुकसान पहुंचाया है। यह सीधे सीधे धन के दुरुपयोग का मामला है। ऐसे स्थान पर कच्चे तालाब बनाये हैं, जहां पर बारिश में पानी बहकर आने तक कि कोई संभावना नहीं है।