एनएमसी जल्द परखेगी अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज का ढांचा, मान्यता को युद्धस्तर पर तैयारी

नएमसी का दौरा एकाध सप्ताह के भीतर हो सकता है। इसी के मद्देनजर फैकल्टी को मानक तक खींचने व अन्य ढांचागत सुविधाएं दुरुस्त करने को युद्धस्तर पर तैयारी की जा रही है। ताकि मान्यता में कोई रोड़ा न लगे।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Tue, 17 Aug 2021 11:40 PM (IST) Updated:Tue, 17 Aug 2021 11:40 PM (IST)
एनएमसी जल्द परखेगी अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज का ढांचा, मान्यता को युद्धस्तर पर तैयारी
जूनियर रेजिडेंट (जेआर) के 32 पद स्वीकृत हैं। अब तक 26 चिकित्सक सदस्य तैनाती ले चुके हैं।

जागरण संवाददाता, अल्मोड़ा : नेशनल मेडिकल काउंसिल (एनएमसी) की टीम जल्द सोबन सिंह जीना राजकीय आयुर्विज्ञान एवं शोध संस्थान (अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज) का निरीक्षण करेगी। सूत्रों के अनुसार एनएमसी का दौरा एकाध सप्ताह के भीतर हो सकता है। इसी के मद्देनजर फैकल्टी को मानक तक खींचने व अन्य ढांचागत सुविधाएं दुरुस्त करने को युद्धस्तर पर तैयारी की जा रही है। ताकि मान्यता में कोई रोड़ा न लगे। इधर तैनाती ले रहे चिकित्सकों के लिए डॉक्टर्स कॉलोनी के मूर्तरूप लेने तक आकाशवाणी के आवासीय परिसर के एक हिस्से को मेडिकल कॉलेज की सुपुर्दगी में दिया जाएगा। अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज को मान्यता व इसी सत्र में एमबीबीएस की पढ़ाई शुरू कराने के लिए एनएमसी के दौरे को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं। माना जा रहा है कि एक-दो सप्ताह के भीतर काउंसिल का दल व्यवस्थाएं परखने पहुंचेगा। इससे पूर्व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआइ) दो बार निरीक्षण कर चुकी है। तीसरे दौर से पहले ही उसे भंग कर एनएमसी अस्तित्व में लाया गया। \

मानक से कुछ दूर है फैकल्टी

एनएमसी के मानकों के अनुसार मेडिकल कॉलेज की फैकल्टी में जूनियर रेजिडेंट (जेआर) के 32 पद स्वीकृत हैं। अब तक 26 चिकित्सक सदस्य तैनाती ले चुके हैं। आठ जेआर और चाहिए। वहीं सीनियर रेजिडेंट (एसआर) 24 चाहिए, फिलहाल 13 ने ज्वाइन कर लिया है। 11 की जरूरत और है। यानि काउंसिल के मानकों पर खरा उतरने को फैकल्टी के 56 पद  भरे होने चाहिए। इसके अलावा तकनीकी स्टाफ की कमी बरकरार है। 

अब तक 39 ने ली तैनाती

बीते दिनों शासन ने मेडिकल कॉलेज को 13 सीनियर रेजिडेंट समेत 25 से ज्यादा चिकित्सकों के स्थानांतरण किए थे। इनमें से एसआर समेत 39 सदस्य तैनाती ले चुके हैं। इनमें प्रोफेसर, एसोसिएट व असिस्टटेंट प्रोफेसर शामिल हैं। 

प्राचार्य सीपी भैसोड़ा का कहना है कि एनएमसी का दौरा कभी भी हो सकता है। हो सकता है इसी सप्ताह पहुंच जाए। उसी के अनुरूप तैयारी में जुटे हैं। डॉक्टर्स आ ही रहे हैं। हल्द्वानी से स्थानांतरित लगभग सभी चिकित्सक पहुंच चुके हैं। आकाशवाणी का आवासीय भवन हमें जल्द मिल जाएगा। उसे जल्द ही डॉक्टर्स के रहने योग्य बनाया जा रहा है। 

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