रानीखेत के सौनी बिनसर में नेचर सेंटर व कैंपिंग साइट का हुआ उद्घाटन, ईको टूरिज्म को मिलेगा बढ़ावा

पर्यावरणीय लिहाज से समृद्ध कुजगढ़ जलागम में बसे धार्मिक पर्यटक स्थल सौनी बिनसर में नेचर अवेयरनेस सेंटर एवं कैंपिंग साइट के निर्माण ने इन संभावनाओं की राह दिखाई है। उपनेता प्रतिपक्ष करन सिंह माहरा ने इसे बहुआयामी योजना बता क्षेत्र में स्वरेाजगार के लिए मील का पत्थर बताया।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Fri, 13 Aug 2021 09:20 PM (IST) Updated:Fri, 13 Aug 2021 09:20 PM (IST)
रानीखेत के सौनी बिनसर में नेचर सेंटर व कैंपिंग साइट का हुआ उद्घाटन, ईको टूरिज्म को मिलेगा बढ़ावा
वन्यजीव व पक्षी प्रेमियों के ज्ञानवर्धन के लिए भविष्य में और अधिक उन्नत किया जाएगा।

जागरण संवाददाता, रानीखेत (अल्मोड़ा) : प्रकृति के प्रति जागरूकता व इको टूरिज्म के जरिये रोजगार की दिशा में वन विभाग ने भी कदम बढ़ा दिए है। पर्यावरणीय लिहाज से समृद्ध कुजगढ़ जलागम में बसे धार्मिक पर्यटक स्थल सौनी बिनसर में नेचर अवेयरनेस सेंटर एवं कैंपिंग साइट के निर्माण ने इन संभावनाओं की राह दिखाई है। उपनेता प्रतिपक्ष करन सिंह माहरा ने इसे बहुआयामी योजना बता क्षेत्र में स्वरेाजगार के लिए मील का पत्थर बताया। 

आरक्षित वन क्षेत्र (कुंजगढ़ जलागम) स्थित सौनी में नेचर अवेयरनेस सेंटर एवं कैंपिंग साइट का शुभारंभ मुख्य अतिथि उपनेता करन माहरा व वन संरक्षक (उत्तरी कुमाऊं) प्रवीण कुमार ने संयुक्त रूप से किया। माहरा ने कहा कि सौनी में पर्यटकों व पर्यावरण प्रेमियों को बेहतर सुविधाएं मिलेंगी। वहीं प्रकृति व पर्यावरण से लगाव रखने वालों के लिए तीन आयामी (थ्रीडी) मूवी प्लेयर  उन्हें वन एवं वन्यजीवों की अद्भुत दुनिया से रूबरू कराएंगे। 

उपनेता ने कहा कि प्रकृति के साथ वन्यजीव व पक्षी प्रेमियों के ज्ञानवर्धन के लिए भविष्य में और अधिक उन्नत किया जाएगा। स्थानीय स्तर पर रोजगार के द्वार भी खुलेंगे। वन संरक्षक प्रवीण ने कहा कि सेंटर व साइट स्थापित करने में स्थानीय युवाओं की सराहनीय भूमिका रही। सौनी के इस मॉडल को अन्य वनक्षेत्रों में भी शुरू कया जाएगा। इस दौरान डीएफओ महातिम सिंह यादव व उमेश तिवारी, ब्लॉक प्रमुख हीरा सिंह रावत, गोपाल सिंह देव, यतीश सिंह रौतेला, चंदन बिष्ट, जतिन जयाल, महेश आर्या, गणेश त्रिपाठी, हरीश टम्टा, राज तिवारी, कमल उपाध्याय आदि मौजूद रहे।

पहाड़ी व्यंजनों से होगा स्वागत

नव स्थापित कैंपिंग साइट में पर्यटकों के लिए नौ टेंट व बायोटॉयलेट बने हैं। पांच साइकल हैं जिनसे वन क्षेत्र का लुत्फ ले सकेंगे। पर्यटकों व शोधार्थियों के लिए विशुद्ध पहाड़ी व्यंजन परोसे जाएंगे। वहीं वॉच टॉवर, ट्रेकिंग मार्ग, बटरफ्लाई गार्डन बनाने की भी योजना है। 

chat bot
आपका साथी