Uttarakhand Board Result 2021 : परिणाम देखकर परीक्षा नहीं दे पाने की चिंता को भूले, देखिए मेधिवियों ने क्या कहा

Uttarakhand Board Result 2021 उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा परिषद की बोर्ड परीक्षा में परीक्षार्थियों का शानदार प्रदर्शन रहा। कोरोना महामारी की वजह से परीक्षाएं भले रद करने पड़ी लेकिन कामयाबी का सिलसिला जारी रहा। हाईस्कूल हो या इंटरमीडिएट इस बार परीक्षार्थियों ने खूब अंक हासिल किए।

By Skand ShuklaEdited By: Publish:Sun, 01 Aug 2021 07:54 AM (IST) Updated:Sun, 01 Aug 2021 07:54 AM (IST)
Uttarakhand Board Result 2021 : परिणाम देखकर परीक्षा नहीं दे पाने की चिंता को भूले, देखिए मेधिवियों ने क्या कहा
परिणाम देखकर परीक्षा नहीं दे पाने की चिंता को भूले, देखिए मेधिवियों ने क्या कहा

जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : Uttarakhand Board Result 2021 : उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा परिषद की बोर्ड परीक्षा में परीक्षार्थियों का शानदार प्रदर्शन रहा। कोरोना महामारी की वजह से परीक्षाएं भले रद करने पड़ी, लेकिन कामयाबी का सिलसिला जारी रहा। हाईस्कूल हो या इंटरमीडिएट, इस बार परीक्षार्थियों ने खूब अंक हासिल किए। कोरोना की वजह से पहले परीक्षा नहीं होने से चिंतित छात्र रिजल्ट देखकर उत्साहित हैं। अपने प्रदर्शन पर शहर की प्रतिभाओं की प्रतिक्रिया।

घर से 200 किमी दूर लिखी कामयाबी

गंगोलीहाट निवासी भूपेश जोशी ने इंटरमीडिएट परीक्षा में 94.6 प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं। हरगोविंद सुयाल सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कॉलेज कुसुमखेड़ा के छात्र भूपेश के पिता चंद्रशेखर जोशी दिल्ली में निजी कंपनी में काम करते हैं। मां आनंदी जोशी गांव में रहती हैं। पढ़ाई की खातिर भूपेश हल्द्वानी में अपनी बुआ मोहनी तिवारी व फूफा भुवन तिवारी के साथ रहता है। भूपेश ने हाईस्कूल में नैनीताल जिला टॉप किया था। भूपेश का सपना आइआइटी में दाखिला लेना है।

नित्या की कामयाबी ने बढ़ाया मान

कुसुमखेड़ा में रहने वाली नित्या पांडे इंटरमीडिएट में 96.6 प्रतिशत अंक लाकर हरगोविंद सुयाल सरस्वती विद्या मंदिर के शीर्ष पर रही हैं। नित्या ने हाईस्कूल में 94 प्रतिशत अंक प्राप्त किए थे। पिता हरीश पांडे जीआईसी गुनियालेख में प्रवक्ता हैं, जबकि मां कमला पांडे गृहिणी। नित्या ने बताया कि कोरोना को लेकर शुरुआत में परीक्षा की चिंता सता रही थी। नतीजों ने सारी चिंताओं को दूर कर दिया।

कर्मयोगी की बेटी को मिली कामयाबी

लालडांठ निवासी कनक तिवारी ने हाईस्कूल परीक्षा में 96.8 प्रतिशत अंकों के साथ हरगोविंद सुयाल सरस्वती विद्या मंदिर में सर्वाधिक अंक पाए हैं। कनक के पिता उमेश तिवारी कर्मयोगी हैं, जबकि मां राधा तिवारी गृहिणी। कनक ने बताया कि बोर्ड परीक्षा को लेकर उन्होंने काफी तैयारी की थी। ऑनलाइन पढ़ाई में कई बार नेटवर्क की समस्या भी आती थी। बाद में परीक्षा टलने पर थोड़ी निराशा हुई। रिजल्ट से सारी चिंता से मुक्त कर दिया। अब वह फोकस होकर आगे की पढ़ाई में जुटना चाहती हैं।

कार्तिक की कीर्ति से परिवार गदगद

कठघरिया के पास रहने वाले कार्तिक सनवाल ने हाईस्कूल परीक्षा में 95.6 प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं। हरगोविंद सुयाल विद्या मंदिर के छात्र कार्तिक के पिता शेखर चंद्र सनवाल ज्वैलरी शॉप में बतौर सेल्समैन काम करते हैं। मां कमला सनवाल गृहिणी हैं। कार्तिक ने बताया कि ऑनलाइन क्लास का कुछ मायनों में फायदा मिला तो कुछ में नुकसान झेलना पड़ा। स्कूल आने-जाने से बचने से पढ़ाई को अतिरिक्त समय मिला, लेकिन ऑनलाइन क्लास में कई बार शंका के समाधान में दुविधा होती थी।

कारपेंटर की जुड़वा बेटियों ने लिखी कामयाबी

जीजीआइसी चोरगलिया की दो जुड़वा बहनों से हाईस्कूल परीक्षा में बेहतर अंक लाकर कामयाबी हासिल की है। तबस्सुम ने 92.6 व तरन्नुम ने 91.4 प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं। दोनों के पिता कारपेंटर का काम करते हैं। तबस्सुम व तरन्नुम ने साबित किया है कि परिश्रम व दृढ़ इच्छाशक्ति से विषय परिस्थितियों में भी कामयाबी पाई जा सकती है। प्रधानाचार्य अनीता दत्त, कक्षाध्यापिका डा. अमिता जोशी ने बताया कि दोनों के पिता अरशद अली कारपेंटर हैं। कार्तिक कुमार ने 94 प्रतिशत अंक लाकर स्कूल का गौरव बढ़ाया है।

मूल्यांकन पद्धति में बदलाव से सुधरा रिजल्ट

परिस्थितिवश बदली मूल्यांकन पद्धति ने स्कूलों को रिजल्ट सुधारने में अहम भूमिका निभाई। शहर के कई स्कूलों के बच्चे सम्मान सहित उत्तीर्ण हुए हैं। प्रथम श्रेणी में पास होने वालों की संख्या भी बढ़ी है। हरगोविंद सुयाल विद्या मंदिर के प्रधानाचार्य खीम सिंह बिष्ट ने बताया कि इंटरमीडिएट में सभी 176 बच्चे पास हैं। 170 प्रथम श्रेणी हासिल की है। हाईस्कूल में सभी 209 बच्चे पास हुए। 182 ने प्रथम श्रेणी में परीक्षा पास की। जीआइसी फूलचौड़ में नेता त्रिपाठी ने हाईस्कूल में 95 प्रतिशत व इंटरमीडिएट में रीमा रावत ने 94 प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं। प्रधानाचार्य सोहन सिंह मेहता ने बताया कि विद्यालय के टॉपरों ने कीर्तिमान बनाया है।

दिव्यांगों ने फैलाया कामयाबी का उजाला

दृष्टि बाधित बच्चों की संस्था नैब के विद्यार्थियों ने भी उत्तराखंड बोर्ड परीक्षा में कामयाबी का उजियारा फैलाया है। लक्ष्य मेहता ने 72.6 प्रतिशत, लक्ष्मण धामी ने 64.8 व भूपाल बिष्ट ने 60.4 प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं। नैब के महासचिव श्याम धानक ने बताया कि नौ बच्चों ने शहर के विभिन्न स्कूलों से हाईस्कूल परीक्षा दी थी, सभी सफल रहे। नैब की स्पेशल एजुकेटर दीपा पांडे, प्रेमा कार्की, पूजा नौला, ज्योति, गीता बच्चों के मार्गदर्शन में अहम भूमिका निभाती हैं।

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