17 दिन से हल्द्वानी के गौलापार के चार हजार लोग पानी को तरसे

खेड़ा स्थित नलकूप 17 दिनों से ठीक होने के बावजूद आपूर्ति करने में बाधा डाल रहा है। स्टेबलाइजर में दिक्कत आने व वोल्टेज बढऩे के कारण नलकूप बार-बार ठप हो जा रहा है। अफसरों से गुहार लगाकर थक चुके ग्रामीणों ने शुक्रवार दोपहर बाल्टी लेकर प्रदर्शन किया।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Sat, 31 Jul 2021 05:08 PM (IST) Updated:Sat, 31 Jul 2021 05:08 PM (IST)
17 दिन से हल्द्वानी के गौलापार के चार हजार लोग पानी को तरसे
लोगों का कहना है कि विभाग से कई बार बात की गई है, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है।

जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : गौलापार के खेड़ा स्थित नलकूप 17 दिनों से ठीक होने के बावजूद आपूर्ति करने में बाधा डाल रहा है। स्टेबलाइजर में दिक्कत आने व वोल्टेज बढऩे के कारण नलकूप बार-बार ठप हो जा रहा है। अफसरों से गुहार लगाकर थक चुके ग्रामीणों ने शुक्रवार दोपहर बाल्टी लेकर प्रदर्शन किया। कहा कि करीब चार हजार लोगों के सामने पानी का संकट है।

टैंकरों से पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं मिलने के कारण और ज्यादा दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। बिजली के न आने से पेयजल व्यवस्था भी गड़बड़ हो जाती है। विगत दिनों बारिश से गौला में भारी मात्रा में सिल्ट आने से भी पानी नहीं आया था। पानी न आने से सामान्य जनजीवन ठप हो जाता है। लोगों का कहना है कि विभाग से कई बार बात की गई है, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है।

ग्राम प्रधान नवाड़खेड़ा हीरा सिंह बिष्ट ने बताया कि खेड़ा नलकूप से पूरे गांव में पानी मिलता है। 17 दिन से बिजली के चक्कर में ग्रामीण संकट झेल रहे हैं। स्टेबलाइजर सही से काम नहीं कर रहा। वहीं, बिजली की वोल्टेज अप-डाउन होने से भी संचालन नहीं हो पा रहा। प्रदर्शन में विमला देवी, बीना बिष्ट, शांति देवी, शिवपाल, आशु, खेमपाल, इंदिरा देवी, गोपाल सिंह, सुदंर सिंह, किशन सिंह, बच्ची सिंह, भूपाल सिंह, पप्पू मेहरा, प्रेम सिंह, प्रदीप बिष्ट, निखिल बिष्ट, संजय बिष्ट आदि शामिल थे। वहीं, जेई जल संस्थान शेखर जोशी ने बताया कि शुक्रवार को स्टेबलाइजर हटाकर ट्रायल किया गया। फिर भी पानी आपूर्ति नहीं हुई। अब शनिवार को तकनीकी टीम से मरम्मत कराई जाएगी।

लो-वोल्टेज की वजह से पांच नलकूप ठप

हल्द्वानी में आइटीआइ व रामपुर रोड स्थित फुटकुआं का नलकूप अब भी ठीक नहीं हो सका। वहीं, शुक्रवार सुबह हिम्मतपुर मल्ला, हिम्मतपुर तल्ला, नरसिंह तल्ला, नरसिंह मल्ला व ब्लॉक का नलकूप लो-वोल्टेज के कारण नहीं चल पाया। जिस वजह से जल संस्थान को टैंकरों की संख्या बढ़ानी पड़ी।

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