बागेश्वर में बारिश से पांच सड़कें आवागमन के लिए बंद, मलबा साफ करने को लगाई गईं जेसीबी मशीनें

बारिश का सिलसिला लगातार तेज हो रहा है। जिसके कारण सड़कों पर बारिश का कहर बढ़ने लगा है। शुक्रवार को धरमघर-माजखेत किमी 10 कपकोट-कर्मी-तोली किमी सात शामा-नौकुड़ी किमी 121314 रिखाड़ी-बाछम किमी 23 कपकोट-कर्मी-बघर किमी चार और पांच में भारी मात्रा में मलबा बोल्डर आदि गिरने से आवागमन ठप हो गया।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Fri, 11 Jun 2021 05:51 PM (IST) Updated:Fri, 11 Jun 2021 05:51 PM (IST)
बागेश्वर में बारिश से पांच सड़कें आवागमन के लिए बंद, मलबा साफ करने को लगाई गईं जेसीबी मशीनें
मुख्यालय की मेहनरबूंगा-मालता मोटर मार्ग में कीचड़ जमा होने से वाहन दुर्घटनाओं का भय बना हुआ है।

जागरण संवाददाता, बागेश्वर : बारिश के कारण जिले की पांच सड़कें आवागमन के लिए बंद हो गई हैं। हालांकि जिला प्रशासन ने सड़कों को खोलने के लिए जेसबी मशीनें लगाई हैं। लेकिन सड़कों पर बोल्डर, मलबा अधिक होने से काम प्रभावित हो रहा है। सड़कें बंद होने से लगभग पांच हजार लोग प्रभावित हो गए हैं।

बारिश का सिलसिला लगातार तेज हो रहा है। जिसके कारण सड़कों पर बारिश का कहर बढ़ने लगा है। शुक्रवार को धरमघर-माजखेत किमी 10, कपकोट-कर्मी-तोली किमी सात, शामा-नौकुड़ी किमी 12,13,14, रिखाड़ी-बाछम किमी 23, कपकोट-कर्मी-बघर किमी चार और पांच में भारी मात्रा में मलबा, बोल्डर आदि गिरने से आवागमन पूरी तरह ठप हो गया है। इसके अलावा ग्रामीण रास्ते आदि भी भूस्खलन होने से बंद होने लगे हैं। वहीं, जिला मुख्यालय की मेहनरबूंगा-मालता मोटर मार्ग में कीचड़ जमा होने से वाहन दुर्घटनाओं का भय बना हुआ है।

सरयू और गोमती में गंदा पानी

सरयू और गोमती नदी में गंदा पानी होने से पेयजल योजनाए भी प्रभावित हो गईं हैं। जिससे तहसील रोड, कफलखेत, नदीगांव, मंडलसेरा समेत खरेही क्षेत्र में पेयजल संकट पैदा हो गया है।

बारिश से बागनाथ वार्ड में होने लगा जलभराव

बागनाथ वार्ड में बारिश के कारण मलबा और जलभराव होने की स्थिति पैदा हो गई है।जिसको लेकर सभासद ने पालिका को स्वच्छता अभियान चलाने की मांग की है। उन्होंने शुक्रवार को वार्ड का निरीक्षण किया और पर्यावरण मित्रों को बुलाकर मलबा आदि हटवाया।

सभासद धीरेंद्र परिहार ने कहा कि बागनाथ वार्ड में भारी बारिश के कारण जलभराव की स्थिति पैदा हो रही है। मलबा आदि भी जमा होने लगा है। बर्षाकाल में स्थिति और भी खराब हो सकती है। उन्होंने कहा कि कूड़ा निस्तारण के लिए अभी भी ठोस कदम नहीं उठ सके हैं। उन्होंने पर्यावरण मित्रों की संख्या बढ़ाने की मांग की। कहा कि पूर्व में पर्यावरण मित्र हटाए गए थे, उन्हें अस्थाई व्यवस्था के तौर पर कोरानकाल में लगाया गया है। उन्होंने कहा कि वार्ड के विकास के लिए वह हरसंभव प्रयास कर रहे हैं। अभियान पहल कोरोना संक्रमण काल में लगातार जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि नगर की सफाई व्यवस्था पर ठोस नीति बनाने की जरूरत है। बोर्ड बैठक में यह सुझाव भी दिए गए हैं।

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