मुक्तेश्वर निवासी भवान सिंह ने हुनर को धरातल पर उतारा, इनके खूबसूरत क्रॉफ्ट बढ़ा देंगे घरों की शोभा

इस दुनिया में कुछ भी बेकार नहीं है। बस हर चीज का इस्तेमाल करना आना चाहिए। हर बेकार चीज से कुछ न कुछ उपयोगी सामना बनाया जा सकता है।

By Skand ShuklaEdited By: Publish:Sun, 16 Aug 2020 09:08 AM (IST) Updated:Sun, 16 Aug 2020 09:08 AM (IST)
मुक्तेश्वर निवासी भवान सिंह ने हुनर को धरातल पर उतारा, इनके खूबसूरत क्रॉफ्ट बढ़ा देंगे घरों की शोभा
मुक्तेश्वर निवासी भवान सिंह ने हुनर को धरातल पर उतारा, इनके खूबसूरत क्रॉफ्ट बढ़ा देंगे घरों की शोभा

हल्द्वानी, जेएनएन : इस दुनिया में कुछ भी बेकार नहीं है। बस हर चीज का इस्तेमाल करना आना चाहिए। हर बेकार चीज से कुछ न कुछ उपयोगी सामना बनाया जा सकता है। यकीन न हो तो नैनीताल जिले के मुक्तेश्वर ससबनी निवासी भवान सिंह बिष्ट से मिल लीजिए। रद्दी सामनों से बनें इनके खूबसूरत क्राॅफ्ट लोगों को खूब भाते हैं। वेस्ट को बेस्ट में बदलने का हुनर ये बखूबी जानते हैं। भवान कहते हैं कि यदि आप वेस्ट को यूज करना सीख लें तो गंदगी की समस्या अपने आप खत्म हो जाएगी।

बारहवीं तक पढ़े 46 वर्षीय भवान सिंह इंटीरियर्स एवं वेस्ट क्राफ्टिंग में प्रशिक्षण प्राप्त हैं। अपने इस हुनर के जरिये वह कई लोगों को प्रशिक्षण दे चुके हैं। फरीदाबाद, गुड़गांव, गाजियाबाद और दिल्ली में स्कूलों और झुग्गियों में जाकर बच्चों को प्रशिक्षण दे रहे हैं। घर में बेकार पड़ी पुरानी सामग्री को उपयोग में लाते हुए उपयोगी बनाने की कला बच्चों को काफी पंसद आ रही हैं। भवान सिंह अपनी मुहिम को धरती मां ट्रस्ट नाम की संस्था के माध्यम से आगे बढ़ा रहे हैं। लाॅकडाउन में गांव लौटे भवान सिंह ने घर की छत और बालकनी पर सब्जियां उगाने का काम शुरू किया।

चार-पांच साल पहले लगाए कई फलदार पौधे इस समय फल दे रहे हैं। भवान कहते हैं आटा, सीमेंट के कट्टे, टिन व प्लास्टिक के डिब्बों को मामूली तकनीक से उपयोगी बताया जा रहा है। जिनमें आसानी से सब्जी उगा सकते हैं। बल्ब, सीएफएल, कांच व प्लास्टिक बोतल, गत्ते आदि से तमाम तरह की घरेलू सजावट की सामग्री तैयार हो सकती है। खुद को क्रिएटिव गतिविधियों की तरफ जोड़ने के लिए भी यह जरिया हो सकता है।

गीले कचरे से खाद तैयार करें

भवान सिंह ने रसोई घर के कूड़े, सुखी पत्तियों आदि से घर पर ही जैविक खाद तैयार की। दो से ढाई माह में जैविक खाद तैयार हो जाती है। तैयार खाद में मिट्टी मिलाकर सीमेंट, आटे के कट्टे, टिन-प्लास्टिक के डिब्बे में पौधे लगा सकते हैं। किचन गार्डन के लिए भी खाद मिल जाती हैं और घर के कचरे का भी प्रबंधन हो जाता है। जैविक खाद से घर की बालकनी और छत पर छह से दस फीट तक के पौधे आसानी से उगाए जा सकते हैं। भवान सिंह अपने घर की छत पर तुलसी, एलोवेरा, गिलोय के अलावा बैगन, मिर्च, शिमला मिर्च, लौकी, खीरा, टमाटर आदि सब्जियों लगा रहे हैं। वह कहते हैं कड़ी पत्ता, अनार, गुड़हल और संकर प्रजाति का आंवला बालकनी या छत पर आसानी से उगाया जा सकता है।

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