लालकुआं में डामरीकरण न होने से गुस्साए ग्रामीणों ने सड़क पर रोपा धान

हल्दूचौड़ की दौलिया ग्रामसभा के ग्रामीणों व स्थानीय दुकानदारों ने सड़क की दुर्दशा को देखकर सड़क पर धान की रोपाई की। ग्रामीणों का कहना है कि वह लगातार कई सालों से विधायक तथा प्रशासन को ज्ञापन देते देते थक चुके हैं।

By Prashant MishraEdited By: Publish:Sat, 24 Jul 2021 11:09 AM (IST) Updated:Sat, 24 Jul 2021 11:09 AM (IST)
लालकुआं में डामरीकरण न होने से गुस्साए ग्रामीणों ने सड़क पर रोपा धान
नेता जब वोट मांगने आते हैं तब बहुत वादे होते हैं पर सत्ता मिलने के बाद कोई सुनवाई नहीं होती

जागरण संवाददाता, लालकुआं : जर्जर सड़क का डामरीकरण न होने से गुस्साए ग्रामीणों ने सड़क पर धान रोपाई कर विरोध जताया। ग्रामीणों का कहना है कि नेता जब वोट मांगने आते हैं तब बिजली, पानी, सड़क और अस्पताल सबकुछ देने की बात की जाती है। पर सत्ता मिलने के बाद कोई सुनवाई नहीं होती है। सड़क में इतने बड़े गड्ढे हो गए हैं कि दो पहिया छोडि़ए चारपहिया वाहन भी फंस जा रहे हैं। कई बार दुर्घटना में लोग चोटिल ही नहीं जान तक गंवा चुके पर कोई सुनने वाला नहीं है।

शुक्रवार को हल्दूचौड़ की दौलिया ग्रामसभा के ग्रामीणों व स्थानीय दुकानदारों ने सड़क की दुर्दशा को देखकर सड़क पर धान की रोपाई की। ग्रामीणों का कहना है कि वह लगातार कई सालों से विधायक तथा प्रशासन को ज्ञापन देते देते थक चुके हैं। परंतु यहां के मुख्य मोटर मार्ग जोकि कई ग्रामसभाओं, स्कूलों व स्टोन क्रेशर को जोड़ता है, लेकिन आज तक इस क्षतिग्रस्त सड़क की मरम्मत नहीं की गई है, आक्रोशित ग्रामीणों ने प्रशासन व विधायक मुर्दाबाद के नारे लगाए, ग्रामीणों का कहना है कि न तो लोक निर्माण विभाग के अधिकारी उनकी सुनते हैं और न ही क्षेत्रीय नेताओं की कान में जूं रेंगती है, इस कारण उन्होंने तालाब बन चुकी सड़क पर धान की रोपाई कर दी है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी कि यदि जल्द ही सड़क का डामरीकरण नहीं किया जाता है तो वह वृहद स्तर का आंदोलन शुरू करेंगे। इस मौके पर पवन पांडे, हिमांशु भट्ट, अर्जुन, जीवन भट्ट, पवन पंत, सूरज, प्रकाश, कमल भट्ट, जगदीश चंद, प्रकाश मिश्रा, हरीश जोशी सहित कई ग्रामीणों ने शिरकत की।

विधायक नवीन दुम्का ने बताया कि रेलवे क्रॉसिंग से जीजीआइसी दौलिया तक तथा हल्दूचौड़ से डूंगरपुर पंचायत घर तक सड़क निर्माण एवं चौड़ीकरण का प्रस्ताव पारित कर शासन को भेजा गया है। इस बीच शासन स्तर पर विभागीय सचिवों के स्थानांतरित हो जाने के चलते शासन से सड़क निर्माण के संबंध में संस्तुति नहीं आ पाई है एक सप्ताह के भीतर शासन स्तर से लगभग एक करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली इस सड़क निर्माण के लिए संस्तुति प्राप्त हो जाएगी।

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