एक जिला दो उत्पाद वाला अल्मोड़ा बना देश का पहला जिला, खुबानी के बाद आम को भी शामिल किया

पहाड़ में कृषि बागवानी के जरिये पलायन पर लगाम व ग्रामीणों को गांव में ही स्वरोजगार के मकसद से एक जिला एक उत्पाद में खुबानी के बाद अब आम को भी शामिल कर लिया गया है। आम की अच्छी पैदावार के मद्देनजर उद्यान विभाग ने शासन को प्रस्ताव भेजा था।

By Skand ShuklaEdited By: Publish:Sun, 07 Nov 2021 11:30 AM (IST) Updated:Sun, 07 Nov 2021 11:30 AM (IST)
एक जिला दो उत्पाद वाला अल्मोड़ा बना देश का पहला जिला, खुबानी के बाद आम को भी शामिल किया
एक जिला दो उत्पाद वाला अल्मोड़ा पहला जिला, खुबानी के बाद आम को भी शामिल किया

दीप सिंह बोरा, रानीखेत : पहाड़ में कृषि बागवानी के जरिये पलायन पर लगाम व ग्रामीणों को गांव में ही स्वरोजगार के मकसद से एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी) में खुबानी के बाद अब आम को भी शामिल कर लिया गया है। रानीखेत व बागेश्वर जिले में आम की अच्छी पैदावार के मद्देनजर उद्यान विभाग ने शासन को प्रस्ताव भेजा था। इधर शासन स्तर पर 'एक जिला दो उत्पाद' संंबंधी शासनादेश भी जारी हो गया है। जिसके बाद अल्मोड़ा एक जिला दो उत्पाद वाला देश का पहला जिला बन गया है।

अल्मोड़ा पहला जनपद बन गया है जहां सबसे पहले दूसरे फल को योजना में जगह दी गई है। प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उन्नयन योजना (पीएमएफएमइ) के तहत अल्मोड़ा जिला खुबानी जोन घोषित किया गया था। पूरे देश में कारगिल व अल्मोड़ा जिले में खुबानी को प्रमुखता दी गई। वहीं प्रदेश के अन्य 12 जनपदों में सर्वाधिक उत्पादन वाले खास फलों को स्थान दिया गया। अब आम भी खुबानी के साथ 'एक जिला दो उत्पाद' योजना का हिस्सा बन गया है।

इसलिए की गई पुरजोर वकालत

पीएमएफएमइ में जिले को खुबानी जोन घोषित तो किया गया पर पहाड़ में इसका रकबा काफी कम है। पर्वतीय फल के पुराने पेड़ों के सूखने के बाद नए पौधे तैयार करने में सुस्ती कहें या बागवानी की ओर घटता रुझान, खुबानी उत्पादन लगातार घट रहा है। हालांकि इस बार सर्दियों में ब्लाकवार खुबानी के 40 हजार नए पौधे लगा इसका रकबा बढ़ाने की भी योजना है। अल्मोड़ा जिले में आम का रकबा 4674 हेक्टेयर तथा उत्पादन 23826 मीट्रिक टन है। इसमें लगभग 90 फीसद योगदान रानीखेत उपमंडल का है। वहीं बागेश्वर में आम का क्षेत्रफल 1011 हेक्टेयर व उत्पादन 3757 मीट्रिक टन है। पिथौरागढ़ व चंपावत जिले के गरम घाटी क्षेत्रों में आम होता तो है पर व्यावसायिक खेती न के बराबर होती है।

लगेंगी प्रोसेसिंग यूनिट

पीएमएफएमइ के तहत इस प्रोजेक्ट में 35 फीसद अनुदान पर खुबानी आधारित प्रोसेसिंग प्लांट ही लगाए जाने हैं। इसमें अचार, जैम, जैली, मुरब्बा, चटनी आदि उत्पाद तैयार किए जाएंगे। इसी में अब आम के लिए भी इकाइयां स्थापित की जाएंगी। अल्मोड़ा जिले से अब तक नौ लोग आवेदन भी कर चुके हैं।

आम से भी बनाए जाएंगे विविध उत्पाद

जिला उद्यान अधिकारी त्रिलोकीनाथ पांडेय ने बताया कि वन डिस्ट्रिक्ट टू प्रोडक्ट का शासनादेश जारी होने से पहले ही हमने आम के लिए सिफारिश कर दी थी। आम को प्रोजेक्ट में शामिल कर लिया गया है। खुबानी आधारित प्रोसेसिंग प्लांट में अब आम से भी विविध उत्पाद बनाए जाएंगे। इससे ग्रामीणों का रुझान बागवानी की ओर बढ़ेगा, उन्हें स्वरोजगार मिलेगा और पलायन रोकने में भी मदद मिलेगी।

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