Ramnavmi Snan 202: रामनवमी पर श्रद्धालुओं ने लगाई आस्था की डुबकी, कोरोना के चलते बेहद कम रही संख्या

Ram Navami 2021 रामनवमी स्नान पर्व की सुरक्षा व्यवस्था के लिए मेला अधिष्ठान और पुलिस ने पूरी तैयारियां की हैं। स्नान के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को कोरोना गाइडलाइन का पालन करना होगा। बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं को आरटीपीसीआर की निगेटिव रिपोर्ट अनिवार्य होगी।

By Raksha PanthriEdited By: Publish:Wed, 21 Apr 2021 08:09 AM (IST) Updated:Wed, 21 Apr 2021 08:09 AM (IST)
Ramnavmi Snan 202: रामनवमी पर श्रद्धालुओं ने लगाई आस्था की डुबकी, कोरोना के चलते बेहद कम रही संख्या
रामनवमी स्नान आज, श्रद्धालुओं को इन नियमों का करना होगा पालन।

जागरण संवाददाता, हरिद्वार। Ram Navami 2021 शास्त्रीय मान्यता और ज्योतिष गणना के अनुसार रामनवमी के दिन बन रहे विशेष योग के कारण हरिद्वार में आज का स्नान बेहद फलदाई और पुण्य कारक है। इसीलिए श्रद्धालु कोविड-19 गाइड लाइन का पालन करते हुए गंगा पूजन और स्नान करने के बाद कन्या पूजन और कन्याओं को भोग प्रसाद ग्रहण कराया। कोरोना वायरस संक्रमण के कारण इनकी संख्या बेहद सीमित है, लेकिन हर की पैड़ी, ब्रह्मकुंड पर रात्रि से श्रद्धालु घाटों पर पहुंच गए थे। 

ज्योतिषाचार्य पंडित शक्ति धर शर्मा शास्त्री ने बताया कि स्कंद पुराण में इस स्नान का बहुत बड़ा महत्व बताया गया है। इसलिए इस दिन पुण्य प्राप्त करने की इच्छा लिए जो भी भक्त स्नान करता है, उसे कई हजार अश्वमेघ यज्ञ करने के समान फल प्राप्त होता है। ऐसा शिव पुराण में भी वर्णन किया गया है। इसीलिए जो व्यक्ति गंगा जल में स्नान करता है या उसका आचमन करता है। उन्हें समस्त पुण्यों का लाभ प्राप्त होता है। इस दिन पितरों के प्रति पिंडदान तर्पण करने से पितर प्रसन्न होते हैं। 

इससे पहले मंगलवार को कुंभ मेला आइजी संजय गुंज्याल ने बताया कि हरकी पैड़ी, भूपतवाला, ज्वालापुर और ऋषिकेश जोन को मिलाकर एक सुपर जोन बनाया गया है। प्रथम जोन हरकी पैड़ी में सेक्टर हर की पैड़ी, द्वितीय जोन भूपतवाला में भूपतवाला, पंतद्वीप, भीमगोडा, रोड़ी, नीलधारा, तृतीय जोन ज्वालापुर में सेक्टर ज्वालापुर, कनखल, बैरागी कैंप शामिल है। जबकि चौथे जोन ऋषिकेश में ऋषिकेश व मुनिकी रेती सेक्टर को शामिल किया गया है। मेला क्षेत्र में सतर्क दृष्टि बनाए रखने के लिए वर्तमान में मैपिंग किए गए 1150 निजी व संस्थागत कैमरों के साथ-साथ 310 पुलिस कैमरों का प्रयोग भी किया जाएगा। 

मेला हेल्पलाइन पर आने वाली कॉल पर तुरंत रिस्पांस के लिए लगातार पारियों में 24 घंटे  पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगाई गई है। मेला एसएसपी जन्मेजय प्रभाकर खंडूरी ने बताया कि श्रद्धालुओं के गंगा में पैर फिसल कर बहने और डूबने की घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए जल पुलिस, एसडीआरएफ और आपदा राहत दल की सम्मिलित ड्यूटी सभी आवश्यक उपकरणों और बोट सहित नौ संवेदनशील स्थानों पर लगाई गई है।

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