CRISPR Technology से होगा कोविड टेस्ट, हर रोज 7500 लोगों की हो सकेगी जांच; जानें- क्या है क्रिस्पर टेस्ट

Haridwar Kumbh Mela 2021 कुंभ मेले में आने वाले श्रद्धालुओं की कोरोना जांच क्रिस्पर तकनीक से भी हो सकेगी। रोजाना साढ़े सात हजार श्रद्धालुओं की इस तकनीक से जांच की जा सकती है। जांच की रिपोर्ट महज दो घंटे में आ जाएगी।

By Raksha PanthriEdited By: Publish:Sat, 27 Feb 2021 12:05 PM (IST) Updated:Sat, 27 Feb 2021 12:05 PM (IST)
CRISPR Technology से होगा कोविड टेस्ट, हर रोज 7500 लोगों की हो सकेगी जांच; जानें- क्या है क्रिस्पर टेस्ट
क्रिस्पर तकनीक से होगा कोविड टेस्ट, हर रोज 7500 लोगों की हो सकेगी जांच। फाइल फोटो

संवाद सहयोगी, हरिद्वार। Haridwar Kumbh Mela 2021 कुंभ मेले में आने वाले श्रद्धालुओं की कोरोना जांच क्रिस्पर तकनीक से भी हो सकेगी। रोजाना साढ़े सात हजार श्रद्धालुओं की इस तकनीक से जांच की जा सकती है। जांच की रिपोर्ट महज दो घंटे में आ जाएगी। भारतीय औषधि महानियंत्रक ने देश के पहले क्रिस्पर कोविड-19 टेस्ट को शुरू करने की मंजूरी टाटा ग्रुप को दी है। अब सीएसआर फंड के तहत कुंभ पुलिस की देखरेख में टाटा ग्रुप मेडिकल एंड डायग्नोस्टिक की टीम अपनी चार मोबाइल वैन के साथ कुंभ मेला क्षेत्र में मौजूद रहेगी और क्रिस्पर तकनीक से कोरोना जांच करेगी। यह टेस्ट आरटीपीसीआर के समतुल्य ही है।

इस टेस्ट को टाटा ग्रुप और इंस्टीट्यूट ऑफ जेनॉमिक्स एंड इंटीग्रेटिव बायोलाजी ने विकसित किया है। आइजी कुंभ मेला संजय गुंज्याल ने बताया कि सीमावर्ती क्षेत्रों के अलावा पार्किंग एवं अन्य क्षेत्र जहां भी आवश्यकता होगी, वहां मोबाइल वैन भेजकर सैंपल एकत्र कराएं जाएंगे। टाटा ग्रुप को लैब के लिए स्थान दे दिया जाएगा।

क्या है क्रिस्पर जांच

यह नई तकनीक सीआरआइएसपीआर (क्रिस्पर) आधारित है। इस तकनीक में स्मार्टफोन कैमरे से कोरोना टेस्ट किया जा सकता है। इसमें स्मार्टफोन कैमरा एक माइक्रोस्कोप की तरह काम करता है, जिसमें एक रोशनी के जरिये यह पता लगाया जाता है कि टेस्ट की रिपोर्ट पॉजिटिव है या निगेटिव। तकनीक के जरिये सीधे वायरल आरएनए के बारे में पता लगाया जा सकता है।

जांच में पॉजिटिव मिले तो बार्डर से लौटाए जाएंगे

महाराष्ट्र, केरल समेत देश के पांच राज्यों में कोरोना के बढ़ते मामले को देखते हुए जिला प्रशासन सतर्क है। माघ पूर्णिमा स्नान के मद्देनजर स्वास्थ्य विभाग की ओर से मेला क्षेत्र और जिले की सीमाओं पर कोविड की रेंडम जांच को 40 टीम लगाई गई है। पांच राज्यों से आने वाले यात्रियों की अनिवार्य रूप से जांच करानी होगी। जांच में पॉजिटिव पाए जाने पर उन्हें बॉर्डर से ही बैरंग लौटा दिया जाएगा।

महाराष्ट्र, गुजरात, केरल, मप्र और छत्तीसगढ़ में कारोनों के नए मामले सामने आने के बाद जिलाधिकारी की ओर से जिले में अलर्ट जारी किया है। माघ पूर्णिमा स्नान को लेकर नारसन, चिड़ियापुर समेत अन्य बॉर्डर पर कोविड की रेंडम जांच होगी। विशेष रूप से पांच राज्यों से आने वाले यात्रियों के लिए बॉर्डर पर कोरोना टेस्टिंग अनिवार्य कर दी गई है। रेलवे स्टेशन पर भी श्रद्धालुओं की रैंडम जांच को टीम की तैनाती कर दी गई है। 

सीएमओ डॉ. एसके झा के अनुसार हरकी पैड़ी, रेलवे स्टेशन समेत रैंडम सैंपलिंग के लिए 40 टीम लगाई गई है। इनमें स्वास्थ्य विभाग की दस और शेष निजी लैब की टीम है। स्वास्थ्य विभाग की टीम नौ घंटे जबकि निजी लैब की टीम चौबीसों घंटे सैंपलिंग करेगी। इसके अलावा थर्मल स्क्रीनिंग के लिए 75 टीम लगाई गई है। पांच अस्थायी चिकित्सा शिविरों में भी थर्मल स्क्रीनिंग और मेडिकल टीम तैनात रहेगी। सीएमओ ने बताया कि मेले में आपात स्थिति से निपटने को 34 एंबुलेंस की भी व्यवस्था की गई है।

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