पांच से अधिक परिमाण का भूकंप आने पर ही अलर्ट जारी करेगा एप, जानिए क्‍या कहते हैं विशेषज्ञ

उत्तराखंड भूकंप अलर्ट एप रिक्टर पैमाने पर पांच से अधिक परिमाण का भूकंप आने पर ही अलर्ट जारी करेगा। क्योंकि इससे कम परिमाण के भूकंप आने पर जान-माल के नुकसान का खतरा कम होता है। वहीं उत्तराखंड भूकंप के लिहाज से संवेदनशील है।

By Sunil NegiEdited By: Publish:Tue, 10 Aug 2021 11:04 PM (IST) Updated:Tue, 10 Aug 2021 11:04 PM (IST)
पांच से अधिक परिमाण का भूकंप आने पर ही अलर्ट जारी करेगा एप, जानिए क्‍या कहते हैं विशेषज्ञ
आइआइटी रुड़की के आपदा न्यूनीकरण एवं प्रबंधन उत्कृष्टता केंद्र में स्थित अर्थक्वेक अर्ली वार्निंग लैब में डिजाइन किया गया भू-सेंसर।

जागरण संवाददाता, रुड़की। उत्तराखंड भूकंप अलर्ट एप रिक्टर पैमाने पर पांच से अधिक परिमाण का भूकंप आने पर ही अलर्ट जारी करेगा। क्योंकि इससे कम परिमाण के भूकंप आने पर जान-माल के नुकसान का खतरा कम होता है। वहीं उत्तराखंड भूकंप के लिहाज से संवेदनशील है, इसलिए छोटे-छोटे भूकंप का खतरा बना रहता है।

भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) रुड़की के सहयोग से राज्य सरकार ने भूकंप पूर्व चेतावनी (ईईडब्ल्यू) के लिए चार अगस्त को मोबाइल एप लान्च किया था। यह मोबाइल एप यूजर को भूकंप आने की पूर्व सूचना देने के साथ ही भूकंप के कारण किसी स्थान पर फंसे व्यक्ति को सहायता पहुंचाने में भी मदद करेगा। वहीं एप के माध्यम से यूजर को भूकंप आने पर क्या करें और क्या न करें की भी जानकारी दी जा रही है, लेकिन यह एप तभी अलर्ट जारी करेगा जब अर्थक्वेक अर्ली वार्निंग सिस्टम के तहत संस्थान की ओर से गढ़वाल और कुमांऊ में सेंसर लगाए गए क्षेत्र में रिक्टर पैमाने पर पांच से अधिक परिमाण का भूकंप आएगा।

आइआइटी रुड़की के प्रोजेक्ट फेलो गोविंद राठौर ने बताया कि उत्तराखंड भूकंप के लिहाज से संवेदनशील है। इसलिए यहां भूकंप समय-समय पर आते रहते हैं। वहीं रिक्टर पैमाने पर पांच परिमाण से कम भूकंप से जान-माल का खतरा नहीं होता है। यदि कम परिमाण के भूकंप पर भी मोबाइल एप यूजर को बार-बार अलर्ट जारी करेगा तो वह पैनिक हो सकते हैं। इसलिए एप के माध्यम से पांच से अधिक परिमाण के भूकंप आने पर ही अलर्ट जारी किया जाएगा।

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