टोल विरोधी आंदोलन में कूदे युवक मंगल दल और व्यापार सभा
हरिद्वार-देहरादून राजमार्ग पर नेपाली फार्म के समीप प्रस्तावित टोल प्लाजा का विरोध लगातार तेज हो रहा है। 14 दिन से जारी आंदोलन में अब ग्रामीण क्षेत्र के युवक मंगल दल और नगर व्यापार सभा भी कूद पड़े हैं।
संवाद सूत्र, रायवाला। हरिद्वार-देहरादून राजमार्ग पर नेपाली फार्म के समीप प्रस्तावित टोल प्लाजा का विरोध लगातार तेज हो रहा है। 14 दिन से जारी आंदोलन में अब ग्रामीण क्षेत्र के युवक मंगल दल और नगर व्यापार सभा भी कूद पड़े हैं। प्रतीत नगर युवक मंगल दल अध्यक्ष अंकित तिवाड़ी ने कहा कि नेपाली फार्म में टोल के प्रति आम जनता का मुखर विरोध है, लिहाजा सभी संगठनों को खुलकर इस आंदोलन में शामिल होना चाहिए।
प्रधान संगठन के बैनर तले जारी अनिश्चित कालीन धरने में खदरी खड़कमाफ, हरिपुरकलां, गुमानीवाला, चकजोगीवाला, जोगीवालामाफी, गढ़ी मयचक, खैरीकलां से आए युवक मंगलदल प्रतिनिधि शामिल हुए। सभी ने एक सुर में टोल प्लाजा निरस्तीकरण तक आंदोलन जारी रखने का संकल्प लिया। मीडिया प्रभारी डॉ. राजे नेगी ने बताया कि धरने में क्षेत्र पंचायत सदस्यों के साथ ही क्षेत्र के विभिन्न सामाजिक संगठनों का समर्थन मिल रहा है।
सभी इस बात पर एकमत हैं कि टोल प्लाजा के निरस्तीकरण का शासनादेश जारी होने पर ही आंदोलन समाप्त होगा। समिति के अध्यक्ष शांतिप्रसाद थपलियाल ने कहा कि नेपाली फार्म टोल लगाने की संस्तुति राज्य सरकार ने की और विधायक इससे अंजान बनने का नाटक रच रहे हैं। इस मौके ग्राम प्रधान संगठन के अध्यक्ष विजयपाल जेठुडी, सचिव गीतांजली जखमोला, प्रदीप तड़ियाल, मनोज चौहान, निर्मल ङ्क्षसह रावत, रवि कलूड़ा, राहुल पंवार, गोविंदा, अंकित खंकरियाल, कुणाल सिलस्वाल, शुभम तिवाड़ी, आकाश थापा, ऋषभ, संदीप, आकाश सरियाल, अमन भट्ट शामिल रहे।
ऋषिकेश व्यापार मंडल भी समर्थन में उतरा
नेपाली फार्म में टोल प्लाजा के खिलाफ सर्वदलीय संघर्ष समिति का धरना सातवें दिन भी जारी रहा। इस दौरान ऋषिकेश व्यापार मंडल ने समिति को समर्थन पत्र सौंपा और सरकार से अविलंब टोल प्लाजा निरस्त करने की मांग की। व्यापार मंडल के अध्यक्ष ललित मोहन मिश्रा ने टोल प्लाजा को व्यापारियों व स्थानीय जनता के शोषण का अड्डा बताया।
सर्वदलीय समिति के प्रवक्ता कनक धनाई ने कहा कि आश्चर्य की बात है कि तीन दिन पहले विधानसभा अध्यक्ष टोल प्लाजा को निरस्त करने की घोषणा कर चुके हैं, लेकिन शासनादेश अब तक जारी नहीं हुआ। इस दौरान संयोजक संजय पोखरियाल, महंत हर्षवर्धन शर्मा, गोकुल रमोला, बृजपाल राणा, प्यारेलाल जुगरान, विक्रम भंडारी, हेमंत डंग, परीक्षित मेहरा, कृपाल सिंह सरोज, दलवीर कलूडा, अशोक ग्रोवर आदि रहे।
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