उत्तराखंड में निजी क्रेन से उठाए जाएंगे सड़क किनारे खड़े वाहन

देहरादून हरिद्वार ऊधमसिंह नगर व नैनीताल में विकराल बन चुकी ट्रैफिक समस्या से निपटने के लिए यातायात निदेशालय अब एक्शन मोड में नजर आ रहा है। निदेशालय सड़क किनारे खड़े वाहनों को क्रेनों से उठाने का अभियान शुरू करने जा रहा है। इसके लिए क्रेन पीपीपी मोड पर ली जाएंगी।

By Sumit KumarEdited By: Publish:Fri, 15 Jan 2021 03:01 PM (IST) Updated:Fri, 15 Jan 2021 03:01 PM (IST)
उत्तराखंड में निजी क्रेन से उठाए जाएंगे सड़क किनारे खड़े वाहन
ट्रैफिक समस्या से निपटने के लिए यातायात निदेशालय अब एक्शन मोड में नजर आ रहा है।

जागरण संवाददाता, देहरादूनः देहरादून, हरिद्वार, ऊधमसिंह नगर व नैनीताल में विकराल बन चुकी ट्रैफिक समस्या से निपटने के लिए यातायात निदेशालय अब एक्शन मोड में नजर आ रहा है। निदेशालय सड़क किनारे खड़े वाहनों को क्रेनों से उठाने का अभियान शुरू करने जा रहा है। इसके लिए क्रेन पीपीपी मोड पर ली जाएंगी। इस बाबत यातायात निदेशालय ने शासन को प्रस्ताव भेजा है। शासन से मंजूरी मिलते ही टेंडर प्रक्रिया शुरू की जाएगी। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज व लखनऊ जिलों में क्रेन पीपीपी मोड पर ली गईं थीं। वहां यह प्रयोग सफल होने के बाद यहां यह कदम उठाया जा रहा है। 

सड़क किनारे खड़े वाहन भी जाम का कारण 

चारों शहरों की भीतरी सड़कें पहले ही संकरी हैं और सड़क किनारे वाहन खड़े होने के बाद जगह-जगह जाम की स्थिति बन जाती है। यातायात निदेशालय के पास क्रेन की भी भारी कमी है। 13 जिलों में केवल 54 क्रेन हैं। इन क्रेन से सालभर में 2309 वाहन उठाए गए हैं। इनमें सबसे अधिक कार्रवाई नैनीताल जिले में की गई। देहरादून में 367, हरिद्वार में 111 व ऊधमसिंह नगर में एक भी कार्रवाई नहीं की गई।

क्रेन पर फिट किए जाएंगे कैमरे

जिन क्रेन को ट्रैफिक निदेशालय पीपीपी मोड पर लेगा, उनमें सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। इससे वाहन को उठाने की जगह से लेकर ट्रैफिक कार्यालय पहुंचाने तक की सारी फुटेज रहेगी। ताकि यदि कोई वाहन चालक किसी तरह से कोई आरोप लगाता है तो उसे वीडियो फुटेज दिखाई जा सके। 

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 यातायात निदेशक केवल खुराना ने बताया कि सड़क किनारे खड़े वाहन ट्रैफिक जाम का एक बड़ा कारण हैं। इसलिए ऐसे वाहनों को उठाने के लिए क्रेन पीपीपी मोड पर ली जा रही हैं। यह काम पीपीपी मोड पर देने से राजस्व भी बढ़ेगा। उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों में यह प्रयोग सफल रहा है। 

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