दून से यात्रियों को लेकर बिहार जा रही डग्गामार बस सीज
कोरोना काल में रोडवेज बसों को भले ही अंतरराज्यीय परिवहन की अनुमति ना मिली हो लेकिन निजी बसें धड़ल्ले से चल रही हैं। पिछले दिनों गोरखपुर जाती हुई एक बस पकड़ी गई थी।
देहरादून, जेएनएन। कोरोना काल में रोडवेज बसों को भले ही अंतरराज्यीय परिवहन की अनुमति ना मिली हो, लेकिन निजी बसें धड़ल्ले से चल रही हैं। पिछले दिनों गोरखपुर जाती हुई एक बस पकड़ी गई थी। ताजा मामले में रोडवेज और पुलिस की संयुक्त टीम ने शनिवार को यात्रियों को लेकर बिहार के दरभंगा जा रही एक डग्गामार बस को सीज कर दिया।
रोडवेज की प्रवर्तन टीम को शनिवार शाम एक डग्गामार बस के ट्रांसपोर्टनगर में यात्रियों को बैठाने की सूचना मिली। टीम पटेलनगर पुलिस के साथ मौके पर पहुंची तो बस में 30 यात्री सवार मिले। पूछताछ में पता चला कि बस दरभंगा बिहार जा रही, जबकि बस चालक के पास कोई अनुमति नहीं थी। ना ही यात्रियों को शारीरिक दूरी से बैठाया गया था, ना ही उनकी जानकारी ली गयी थी। टीम ने बस सीज कर दी। बस गाजियाबाद के एक ट्रांसपोर्टर की बताई जा रही। पुलिस ने यात्रियों से किराया लेने वाले टिकट एजेंट और बस के चालक-परिचालक को हिरासत में ले लिया है। बस से उतारे गए यात्री परेशान नजर आए। उनका किराया भी वापिस नहीं हो सका। यात्री पुलिस से उनका किराया वापस दिलाने की मांग कर रहे थे।
बंद रहा परिवहन मुख्यालय और आरटीओ
कोरोना संक्रमण के मद्देनजर शनिवार को परिवहन आयुक्त कार्यालय और आरटीओ कार्यालय शनिवार को बंद रहे। इस वजह से ट्रांसपोर्टरों का कोई काम नहीं हुआ, जबकि ड्राइविंग लाइसेंस के आवेदकों की परीक्षा भी स्थगित करनी पड़ी। असल में एक हफ्ते पहले टिहरी एआरटीओ कार्यालय का एक कनिष्ठ लिपिक परिवहन मुख्यालय और आरटीओ कार्यालय देहरादून आया था।वह दो दिन यहीं रहा।
वापस लौटने पर स्वास्थ्य खराब की स्थिति में उसने कोरोना जांच कराई तो उक्त लिपिक संक्रमित पाया गया। इसकी सूचना शुक्रवार सुबह मिलते ही आरटीओ कार्यालय को दो दिन शुक्रवार और शनिवार के लिए पूरी तरह बंद कर दिया गया था, जबकि परिवहन मुख्यालय शनिवार सुबह बंद किया गया। अब दोनों कार्यालय सोमवार को आमजन के लिए खुलेंगे।