All Weather Road: भागीरथी ईको सेंसिटिव जोन में जल्द बनेगी ऑल वेदर रोड
भागीरथी ईको सेंसिटिव जोन की बंदिशों से मुक्त होने बाद अब जल्द ही वहां चारधाम ऑल वेदर रोड का निर्माण हो सकेगा।
देहरादून, राज्य ब्यूरो। उत्तरकाशी जिले में भागीरथी ईको सेंसिटिव जोन की बंदिशों से मुक्त होने बाद अब जल्द ही वहां चारधाम ऑल वेदर रोड का निर्माण हो सकेगा। राष्ट्रीय और सामरिक महत्व की इस महत्वाकांक्षी परियोजना की शुक्रवार को सचिवालय में समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने भागीरथी सेंसिटिव जोन में सड़क निर्माण के लिए 15 दिन के भीतर पर्यावरणीय प्रभाव आकलन (ईआइए) कराने के निर्देश दिए।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट की हाईपावर कमेटी ने हाल में बहुमत के आधार पर भागीरथी ईको सेंसिटिव जोन में आल वेदर रोड के निर्माण के पक्ष में फैसला दिया था। इससे सरकार को बड़ी राहत मिली और अब तेजी से इस दिशा में कदम बढ़ाए जा रहे हैं। 11700 करोड़ की लागत वाली 889 किमी लंबी इस परियोजना को लेकर आयोजित समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने इसकी प्रगति का ब्योरा लिया। उन्होंने कहा कि यह योजना राज्य और केंद्र सरकार की शीर्ष प्राथमिकताओं में है। इसे तय अवधि में पूरा किया जाना है। इसके आकार लेने पर चारधाम यात्रा मार्ग पर आवागमन में सुविधा के साथ ही सीमांत क्षेत्रों में आवाजाही सुगम होगी। साथ ही क्षेत्र के विकास की नई राह भी प्रशस्त होगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सड़क निर्माण में आ रही कठिनाइयों का प्राथमिकता के आधार पर समयबद्धता के साथ निराकरण सुनिश्चित कराया जाए। संबंधित विभाग इसके लिए तालमेल से काम करें। केंद्र के स्तर से जो स्वीकृतियां ली जानी हैं, उन्हें संदर्भित किया जाए। उन्होंने सड़क निर्माण में बाधक विद्युत और पेयजल लाइनों को तुरंत शिफ्ट करने, कार्यदायी संस्थाओं को सभी आवश्यक सहयोग और सुविधाएं देने, पेड़ कटान की स्वीकृति के लिए जल्द कार्यवाही करने, सड़क किनारे पौधारोपण की कार्ययोजना तैयार करने, पेट्रोल पंप, विश्राम स्थल व ईको पार्क को भूमि चिह्नित करने, महिला स्वयं सहायता समूहों के लिए कियोस्क बनाने और भूमि अधिग्रहण का मुआवजा सभी पात्र लोगों को उपलब्ध कराने के निर्देश भी दिए।
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मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों से कहा कि बरसात के बाद रिवर ट्रेनिंग की व्यवस्था कराई जाए, जिससे निर्माण एजेंसियों को निर्माण सामग्री उपलब्ध होने के साथ ही राज्य को राजस्व भी मिल सके। उन्होंने नदियों के बढ़े जल स्तर के मद्देनजर आवश्यक कदम उठाने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि यह भी सुनिश्चित किया जाए कि रोड कटिंग से पूरी माइनिंग रॉयल्टी प्राप्त हो। इसके लिए जिलाधिकारी संयुक्त सत्यापन की व्यवस्था कराएंगे। बैठक में मुख्य सचिव ओमप्रकाश, प्रमुख सचिव आनंद बर्द्धन, सचिव आरके सुधांशु, नितेश झा, सुशील कुमार, अपर सचिव नीरज खैरवाल, डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट आदि मौजूद थे।
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