कोविड केयर सेंटर प्रभारी को बेड की जानकारी न होने पर भड़के कैबिनेट मंत्री, कहा- मुख्‍यमंत्री से करूंगा शिकायत

कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने रायपुर स्थित राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में बने कोविड केयर सेंटर का निरीक्षण किया। इस दौरान कोविड केयर सेंटर के प्रभारी से जब बेड के संबंध में जानकारी ली तो वह जानकारी नहीं दे पाए जिससे मंत्री के साथ ही विधायक भड़क गए।

By Sumit KumarEdited By: Publish:Thu, 13 May 2021 12:30 PM (IST) Updated:Fri, 14 May 2021 03:05 AM (IST)
कोविड केयर सेंटर प्रभारी को बेड की जानकारी न होने पर भड़के कैबिनेट मंत्री, कहा- मुख्‍यमंत्री से करूंगा शिकायत
कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने रायपुर स्थित राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में बने कोविड केयर सेंटर का निरीक्षण किया।

जागरण संवाददाता, देहरादून। रायपुर स्टेडियम स्थित कोविड केयर सेंटर में बनाए इंटेंसिव केयर यूनिट (आइसीयू) व एचडीयू (हाई डिपेंडेंसी यूनिट) के बीच के फर्क को लेकर देहरादून जिले के कोविड प्रभारी मंत्री गणेश जोशी का पारा चढ़ गया। गुरुवार को विधायकों को साथ लेकर सेंटर का निरीक्षण करने पहुंचे मंत्री जोशी ने सीएमओ व अन्य स्वास्थ्य अधिकारियों को न सिर्फ खरीखोटी सुनाई, बल्कि पूरे मामले की रिपोर्ट मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को देने की बात भी कही। 

दरअसल, यह यूनिट रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ ने 71 लाख रुपये की विधायक निधि से आपात स्थिति में बनवाई है। काऊ इसे आइसीयू जैसी सेवा बता रहे थे, जबकि गणेश जोशी इससे संतुष्ट नहीं हैं। इसे लेकर जोशी व काऊ में बहस भी हुई और तल्खी स्पष्ट नजर आई। सरकार के कोविड केयर सेंटर की व्यवस्था पर सवाल उठाने के बाद जोशी एक बार फिर अपने ही कुछ नेताओं व कांग्रेस के भी निशाने पर आ गए हैं। 

कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी पिछले दो दिनों से लगातार अपने जनपद के विधायकों संग कोविड से बचाव को लेकर वर्चुअली बैठक कर रहे थे। गुरुवार सुबह वह रायपुर स्थित कोविड सेंटर के निरीक्षण करने पहुंचे और विधायक भी वहीं बुला लिए। रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ, राजपुर रोड विधायक खजानदास व धर्मपुर विधायक विनोद चमोली के संग वह कोविड केयर सेंटर पहुंचे। मंत्री जोशी ने सेंटर पहुंचते ही सबसे पहले सीएमओ डॉ. अनूप डिमरी व रायपुर कोविड सेंटर के प्रभारी डॉ. आनंद शुक्ला से आइसीयू की स्थिति जानी। अधिकारियों ने इस पर चुप्पी साध ली। जिससे मंत्री का पारा चढ़ गया।

इतना ही नहीं जोशी ने डा. शुक्ला से पूछा कि सेंटर में कितने सामान्य व कितने ऑक्सीजन बेड हैं, इसका जवाब डा. शुक्ला स्पष्ट नहीं दे सके। इसके बाद मंत्री जोशी और विधायक भड़क उठे। इस दौरान मंत्री जोशी ने स्थिति संभाली व डा. शुक्ला को पांच मिनट में लिखित में रिपोर्ट देने को कहा। मंत्री ने नाराजगी जताते हुए कहा कि यह सीधे-सीधे लापरवाही है, जो अधिकारियों को यह भी जानकारी नहीं कि कितने ऑक्सीजन और कितने एचडीयू बेड हैं। उन्होंने कहा कि जिले के सीएमओ को सभी जानकारी उंगलियों पर याद होनी चाहिए। जोशी ने कहा कि वह इसकी पूरी रिपोर्ट तैयार करेंगे और मुख्यमंत्री को देंगे। निरीक्षण के दौरान अपर जिलाधिकारी वीर सिंह बुदियाल व उप नगर आयुक्त मोहन सिंह बर्निया भी मौजूद रहे। 

सरकारी धन का हो रहा दुरुपयोग

मंत्री गणेश जोशी ने रायपुर कोविड केयर सेंटर को बनाने में सरकारी धन के दुरुपयोग का आरोप लगाया। वह बोले कि यह सेंटर अनावश्यक बनाया जा रहा। उनका निशाना सीधे-सीधे विधायक काऊ की तरफ माना जा रहा। मंत्री जोशी ने यहां तक कह दिया कि मामले में जो भी जवाबदेह होगा, उसके विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। 

आइसीयू पर जोशी-काऊ में तल्खी 

कोविड केयर सेंटर में 30 आइसीयू बेड होना प्रचारित किया जा रहा था। इस बाबत मंत्री जोशी ने सीएमओ से स्थिति को स्पष्ट करने के लिए कहा। पहले तो सीएमओ भी कुछ नहीं बोले, लेकिन कुछ देर बाद स्पष्ट किया कि यह आइसीयू नहीं है। यह सुनते ही पास में खड़े विधायक उमेश शर्मा काऊ भड़क उठे। उनकी मंत्री जोशी व सीएमओ के साथ तल्खी भी हुई। सीएमओ ने जवाब दिया कि यह सेंटर राजकीय दून मेडिकल कॉलेज के अधीन है और उनके प्रधानाचार्य का पत्र भी दिखाया, जिसमें सेंटर को हाई डिपेंडेंसी यूनिट यानी एचडीयू बताया गया है। हालांकि, कुछ देर बाद विधायक उमेश शर्मा काऊ ने खुद स्वीकार किया कि यह आइसीयू नहीं है, बल्कि उसी की तरह एक जुगाड़ है। यहां 11 लोग भर्ती हैं, उन्हें हर लिहाज से स्वास्थ्य लाभ मिल रहा है। 

टेंट से बन रहे कोविड केयर सेंटर पर जताया विरोध 

मंत्री जोशी व विधायकों ने स्टेडियम में टेंट में बनाए जा रहे 60 बेड वाले कोविड केयर सेंटर का एक सुर में विरोध किया। यह अस्थायी सेंटर जिला प्रशासन की ओर से बनाया जा रहा। मंत्री और विधायकों ने इसे सरकारी धन का दुरुपयोग बताया और कहा कि तेज हवा में यह तहस-नहस हो जाएगा। रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ ने कहा कि उनसे इस बारे में पूछा ही नहीं गया। विधायकों ने आरोप लगाया कि बनने से पहले ही इसके पर्दे हवा में उड़ रहे हैं।

- डा. केसी पंत (चिकित्सा अधीक्षक दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय) का कहना है कि दून मेडिकल कालेज चिकित्सालय के चिकित्सक व नर्सिंग स्टाफ यहां एचडीयू का संचालन कर रहे हैं। यहां आइसीयू के स्तर की सुविधा अभी नहीं हैं। आइसीयू के लिए सेंट्रल ऑक्सीजन सिस्टम व वेंटिलेटर के साथ ही बाइपैप मशीन के लिए जरूरी बैकअप की जरूरत होती है, जो फिलहाल यहां नहीं हैं। लेकिन, इसे ऑक्सीजन और आइसीयू बेड की बीच की कड़ी मान सकते हैं। फिलहाल हमारा मकसद सिर्फ इतना है कि हम यहां कम गंभीर मरीजों को विशेषज्ञ चिकित्सकों की निगरानी में रख सकें। अगर किसी की स्थिति ज्यादा गंभीर होगी तो उसे तत्काल दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय रेफर किया जाएगा।

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