पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा- नरेन्द्र मोदी चुनावी जुमलों की बारिश कर गए

Uttarakhand Assembly Elections 2022 आज शनिवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की परेड ग्राउंड में जनसभा के बाद पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने अपनी प्रतिक्रिया दी। इस दौरान उन्‍होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी चुनावी जुमलों की बारिश कर गए।

By Sunil NegiEdited By: Publish:Sat, 04 Dec 2021 07:58 PM (IST) Updated:Sat, 04 Dec 2021 09:19 PM (IST)
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा- नरेन्द्र मोदी चुनावी जुमलों की बारिश कर गए
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने आरोप लगाए कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चुनावी जुमलों की बारिश कर गए हैं।

जागरण संवाददाता, देहरादून। Uttarakhand Assembly Elections 2022: पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने आरोप लगाए कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चुनावी जुमलों की बारिश कर गए हैं, उत्तराखंड के जो सवाल थे उनको नजरअंदाज करना राज्य की जनता का अपमान है। उन्होंने कहा कि पहाड़ की पानी और जवानी की बात भी उनकी बेमानी है, क्योंकि युवाओं को रोजगार देने के बजाय लाखों नागरिकों का रोजगार छिन गया है। दो करोड़ युवाओं को प्रतिवर्ष रोजगार देने का वादा भी जुमला साबित हुआ है।

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शनिवार  को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की परेड ग्राउंड में जनसभा के बाद अपनी प्रतिक्रिया दी। कहा कि प्रधानमंत्री मोदी बताएं कि कोरोनाकाल में कितने युवाओं की नौकरी गई। क्या यह सच नहीं है कि राज्य में दस हजार पदों को उनकी सरकार ने मृत घोषित किया है। हमारे सैनिकों, पूर्व सैनिकों, सुरक्षा बलों की अनदेखी भी लगातार की गई है। राज्य की अर्थव्यवस्था, महंगाई व बेरोजगारी पर उनकी आश्चर्यजनक चुप्पी भी प्रधानमंत्री से सवाल कर रही है।

भाजपा के स्वयं तीन मुख्यमंत्री भी सीमांत क्षेत्रों के विकास के लिए धन की मांग करते रहे हैं। तीन मुख्यमंत्री बदल गए, लेकिन सीमांत क्षेत्रों में विकास का धन आवंटित नहीं हो पाया है। आपदा से प्रभावित लगभग 400 गांवों के विस्थापन के लिए भी कोई पहल या सोच का जिक्र न कर पाना भी अचंभित करता है। अभी हाल में आई आपदा से प्रभावितों के लिए कुछ न कर पाना उत्तराखंड की उपेक्षा को दर्शाता है। हमारी माता व बहनों की रसोई पर आया संकट व गरीब की थाली का निवाला कैसे पूरा होगा, यह सवाल भी उत्तर विहीन रह गया है। राज्य की चौपट होती अर्थव्यवस्था पिछले पांच वर्ष में अवरुद्ध हुआ। विकास के सवाल का जवाब कौन देगा। यह भी जनता को बताया जाना चाहिए था।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री सिर्फ चुनावी भाषण देकर चले गए। प्रधानमंत्री की ओर से की गई घोषणाएं ऐसी हैं जैसे बिहार विधानसभा चुनाव में एक लाख 25 हजार करोड़ रुपये का पैकेज देने की कोरी घोषणा हुई थी। 20,000 करोड़ का पैकेज कोविड-19 के राहत के लिए घोषित किया था जिसको जनता अभी तक ढूंढ रही है।

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