टीकाकरण केंद्र के बगल में कोविड जांच से संक्रमण का बढ़ा खतरा

एसपीएस राजकीय चिकित्सालय में टीकाकरण केंद्र के बगल में कोविड जांच केंद्र संचालित हो रहा है। दोनों का रास्ता एक ही है। दोनों ही केंद्र में अपार भीड़ आ रही है। राजकीय चिकित्सालय के 14 कर्मचारी पिछले दस दिनों के भीतर संक्रमित हो चुके हैं।

By Sumit KumarEdited By: Publish:Thu, 22 Apr 2021 03:36 PM (IST) Updated:Thu, 22 Apr 2021 03:36 PM (IST)
टीकाकरण केंद्र के बगल में कोविड जांच से संक्रमण का बढ़ा खतरा
टीकाकरण के लिए आने वाले स्वस्थ नागरिकों में संक्रमण का खतरा मंडराने लगा है।

जागरण संवाददाता, ऋषिकेश: एसपीएस राजकीय चिकित्सालय में टीकाकरण केंद्र के बगल में कोविड जांच केंद्र संचालित हो रहा है। दोनों का रास्ता एक ही है। दोनों ही केंद्र में अपार भीड़ आ रही है। राजकीय चिकित्सालय के 14 कर्मचारी पिछले दस दिनों के भीतर संक्रमित हो चुके हैं। ऐसे में टीकाकरण के लिए आने वाले स्वस्थ नागरिकों में संक्रमण का खतरा मंडराने लगा है।

कोरोना संक्रमण के खिलाफ वैसे तो 16 जनवरी से टीकाकरण अभियान शुरू हो गया था। भारत सरकार ने एक अप्रैल से 45 वर्ष आयु सीमा से अधिक वाले नागरिकों के लिए टीकाकरण की सुविधा उपलब्ध कराई है। तभी से यहां टीकाकरण के लिए लगातार भीड़ आ रही है। एसपीएस राजकीय चिकित्सालय में ट्रॉमा सेंटर के एक हिस्से में टीकाकरण केंद्र बनाया गया है। उसी से सटे दूसरे हिस्से में कोविड जांच के तहत आरटी पीसीआर सैंपल लिए जा रहे हैं। तेजी से फैल रहे संक्रमण के बीच यहां कोविड जांच कराने वालों की संख्या भी बढ़ गई है। दोनों ही केंद्र एक दूसरे से सटे हुए हैं, इनका रास्ता भी एक है। ऐसी स्थिति में टीकाकरण के लिए आने वाले स्वस्थ नागरिकों पर भी कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ गया है।

एक मई से युवाओं की उमड़ेगी भीड़

भारत सरकार एक मई से 18 वर्ष तक की आयु सीमा वाले व्यक्तियों को टीकाकरण की सुविधा उपलब्ध कराने जा रही है। ऐसे में एसपीएस चिकित्सालय में टीकाकरण के लिए भारी भीड़ हो जाएगी। इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता है कि ऐसी स्थिति में कोरोना जांच केंद्र टीकाकरण के लिए आने वाले युवाओं की सेहत के लिए भी खतरा बन सकता है।

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14 कर्मचारी अब तक संक्रमित

राजकीय चिकित्सालय में ओपीडी के साथ टीकाकरण और कोविड जांच चिकित्सालय कर्मचारियों के लिए भी खतरा बन गई है। पिछले दस दिन के भीतर चिकित्सालय के 14 कर्मचारी संक्रमित हो चुके हैं। इससे अन्य कर्मचारी भी सहमे हुए हैं। राजकीय चिकित्सालय ऋषिकेश के सीएमएस डॉ.विजयेश भारद्वाज का कहना  है कि राजकीय चिकित्सालय परिसर में टीकाकरण केंद्र और कोविड जांच केंद्र एक दूसरे से सटे हुए हैं। यह हमारे लिए चिंता का विषय है। महानिदेशक स्वास्थ्य से हमने आग्रह किया है कि कोविड जांच केंद्र को यहां से हटा कर कहीं सुरक्षित स्थान पर संचालित किया जाए। ताकि मरीज, उनके तीमारदार, हॉस्पिटल स्टाफ और टीकाकरण को आने वाले नागरिक सभी स्वस्थ रहें।  

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