रेरा में एडि़यां रगड़ रहे लोग, नहीं मिल रहा न्याय

मई 2017 में रियल एस्टेट (रेगुलेशन एंड डेवलपमेंट) एक्ट लागू होने के बाद भी नागरिकों के सपनों के घरौंदे की आस पूरी नहीं हो पा रही है। समय पर फ्लैट पर कब्जा न देने वाले बिल्डरों के खिलाफ लोग शिकायत तो कर रहे हैं।

By Sumit KumarEdited By: Publish:Thu, 08 Apr 2021 10:05 PM (IST) Updated:Thu, 08 Apr 2021 10:34 PM (IST)
रेरा में एडि़यां रगड़ रहे लोग, नहीं मिल रहा न्याय
उत्तराखंड रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी (रेरा) से समय पर शिकायतों का निस्तारण नहीं हो पा रहा।

जागरण संवाददाता, देहरादून: मई 2017 में रियल एस्टेट (रेगुलेशन एंड डेवलपमेंट) एक्ट लागू होने के बाद भी नागरिकों के सपनों के घरौंदे की आस पूरी नहीं हो पा रही है। समय पर फ्लैट पर कब्जा न देने वाले बिल्डरों के खिलाफ लोग शिकायत तो कर रहे हैं, मगर उत्तराखंड रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी (रेरा) से समय पर उनका निस्तारण नहीं हो पा रहा। इससे रेरा के प्रति नागरिकों की नाराजगी बढ़ रही है और एक मामले में हाईकोर्ट भी रेरा अध्यक्ष विष्णु कुमार के खिलाफ जांच के आदेश दे चुका है। अब आमजन की समस्या को उठाते हुए कांग्रेस कार्यकत्ताओं ने जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंपकर रेरा की व्यवस्था में सुधार लाने की मांग की।

गुरुवार को कांग्रेस अनुसूचित जाति विभाग के अध्यक्ष व पूर्व विधायक राजकुमार के नेतृत्व में कांग्रेस कार्यकत्र्ता जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे। यहां अपर जिलाधिकारी (वित्त एवं राजस्व) के माध्यम से ज्ञापन सौंपा गया। पूर्व विधायक राजकुमार ने कहा कि समय के साथ रेरा निष्प्रभावी साबित हो रहा है। वर्तमान में भी रेरा अध्यक्ष करीब 50 मामलों की सुनवाई पूरी कर चुके हैं, मगर आदेश जारी नहीं कर रहे। वह रिटायर होने वाले हैं और ऐसे में जो नए अध्यक्ष बनेंगे, उन्हें नए सिरे से प्रकरणों को समझना पड़ेगा। सुनवाई के नाम पर तारीख पर तारीख दी जा रही है और बिल्डर जनता की खून-पसीने की कमाई पर कुंडली मारे बैठे हैं। उन्हें न तो फ्लैट मिल रहा है, न ही उनका पैसा लौटाया जा रहा।

यह भी पढ़ें- रेरा में 60 दिन में शिकायत के निस्तारण का है नियम, डेढ़ से दो साल तक भी फरियादी काट रहे चक्कर

वहीं, महानगर अध्यक्ष लालचंद शर्मा ने कहा कि रेरा अध्यक्ष के पास लंबित प्रकरणों की जांच की जाए और देखा जाए कि किस आधार पर 60 दिन की जगह मामलों को महीनों तक लंबित रखा जा रहा है। ज्ञापन देने वालों में प्रदेश सचिव सोम प्रकाश, ब्लॉक अध्यक्ष देवेंद्र सिंह, पार्षद अर्जुन सोनकर, अनूप कुमार, निखिल कुमार, डंपी आनंद आदि शामिल रहे।

यह भी पढ़ें- घातक हो सकते हैं आपके खर्राटे, जानिए क्‍या कहते हैं डॉक्‍टर

Uttarakhand Flood Disaster: चमोली हादसे से संबंधित सभी सामग्री पढ़ने के लिए क्लिक करें

chat bot
आपका साथी