हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतें सात दिनों में करें निस्तारित, पढ़िए पूरी खबर

पुलिस उपमहानिरीक्षक गढ़वाल परिक्षेत्र नीरू गर्ग ने महिला हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतें एक सप्ताह में निस्तारित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि महिला हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतों को रजिस्टर में अंकित करें।

By Sunil NegiEdited By: Publish:Tue, 22 Jun 2021 03:13 PM (IST) Updated:Tue, 22 Jun 2021 03:13 PM (IST)
हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतें सात दिनों में करें निस्तारित, पढ़िए पूरी खबर
हेल्पलाइन नंबर कंट्रोल रूप में शिकायत सुनते पुलिसकर्मी। जागरण

जागरण संवाददाता, देहरादून। पुलिस उपमहानिरीक्षक गढ़वाल परिक्षेत्र नीरू गर्ग ने रेंज के सभी एसएसपी व एसपी के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक की। जिसमें उन्होंने महिला हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतें एक सप्ताह में निस्तारित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि महिला हेल्प डेस्क में आने वाली शिकायतों को रजिस्टर में अंकित करें। बिना किसी ठोस कारण शिकायतों का एक सप्ताह में निस्तारण न होने पर थानाध्यक्ष उत्तरदायी होंगे।

डीआइजी ने कहा कि सभी जिला प्रभारी 10 दिनों में अपने जिलों की डिजीटल मैपिंग करें। यह इस तरह से हो कि स्थापित किए गए सीसीटीवी कैमरे के माध्यम से किसी भी घटना का कम समय में रूटमैप चिह्नित कर घटना के अनावरण व आरोपित तक पहुंचने में पुलिस को विलंब न हो। पर्वतीय क्षेत्रों में सीसीटीवी कैमरे की संख्या में बढ़ोतरी की जाए। बढ़ते साइबर क्राइम के मामले में डीआइजी ने कहा कि आवश्यकतानुसार जांच अधिकारियों की ट्रेनिंग कराएं, जिससे समय पर जांच अधिकारी साइबर क्राइम के मामलों का पर्दाफाश कर सकें।

एसएसपी देहरादून व हरिद्वार को पर्वतीय जिलों से सामंजस्य बनाते हुए निरीक्षक व उपनिरीक्षकों व जांच अधिकारियों की ट्रेनिंग साइबर एक्सपर्ट से कराने के निर्देश दिए। नाबालिग गुमशुदगी के मामलों में रेंज के सभी जनपद प्रभारियों को विशेष अभियान चलाने को कहा गया। इस मौके पर एसएसपी देहरादून डॉ. योगेंद्र सिंह रावत, एसएसपी हरिद्वार सेंथिल अबुदेई, एसएसपी पौड़ी पी रेणुका देवी, एसएसपी टिहरी तृप्ति भट्ट, एसपी चमोली यशवंत सिंह, एसपी उत्तरकाशी मणिकांत मिश्रा व एसपी रुद्रप्रयाग आयुष अग्रवाल मौजूद रहे।

गंभीर अपराध की करें नियमित समीक्षा

डीआइजी ने गढ़वाल रेंज में गंभीर अपराधों जिसमें हत्या, डकैती, लूट, नकबजनी, चेन स्नेचिंग जैसे प्रकरणों की जिला प्रभारी की ओर से नियमित रूप से समीक्षा करने के निर्देश दिए। कहा कि शीघ्र ही आरोपितों की गिरफ्तारी करते हुए घटनाओं का पर्दाफाश करें। वहीं, मानसून सत्र के दौरान आपदा प्रबंधन संबंधी उपकरणों की जांच पहले ही कर ली जाए।

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