उत्तराखंड में सड़कों पर 1115 खतरनाक स्थल
उत्तराखंड की सर्पीली सड़कों पर 1115 स्थल हादसों के लिहाज से बेहद खतरनाक हैं।
राज्य ब्यूरो, देहरादून: उत्तराखंड की सर्पीली सड़कों पर 1115 स्थल हादसों के लिहाज से बेहद खतरनाक हैं। राज्य सड़क सुरक्षा परिषद के निर्देश पर कराए गए सर्वे में यह खुलासा हुआ है। इन स्थलों में 129 ब्लैक स्पॉट और 986 दुर्घटना संभावित स्थल हैं। यानी इन स्थानों से वाहनों के गुजरते वक्त हादसों का खतरा बना रहता है। उस पर तुर्रा यह कि अभी तक केवल 34 ब्लैक स्पॉट पर ही सुधारीकरण का कार्य चल रहा है, जबकि दुर्घटना संभावित स्थलों में से महज 103 में ही सुधारात्मक कार्य हो पाए हैं।
प्रदेश में बढ़ते सड़क हादसों ने सरकार की पेशानी पर बल पड़े हैं। हालांकि, हादसों की रोकथाम को प्रयास किए गए हैं, मगर दुर्घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रहीं। हादसों के पीछे सर्पीली सड़कों पर जगह-जगह अंधे मोड़ों के साथ ही भूस्खलन, भू-धंसाव से जर्जर सड़कें भी एक वजह है। इसे देखते हुए राज्य सड़क सुरक्षा परिषद ने दुर्घटना संभावित स्थलों चिह्नित करने के निर्देश दिए।
सर्वे में बात सामने आई कि प्रदेशभर में सड़कों पर 129 ब्लैक स्पॉट मौजूद हैं। इनमें सबसे अधिक 65 राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधीन सड़कों पर हैं, जबकि उसके बाद लोनिवि-राजमार्ग खंड की सड़कों पर। यही नहीं, ब्लैक स्पॉट से इतर 986 अन्य दुर्घटना संभावित स्थल भी चिह्नित किए गए हैं। जिला सड़क सुरक्षा समितियों के माध्यम से इनका चिह्नीकरण हुआ। इनमें सबसे अधिक 615 लोक निर्माण विभाग की सड़कों पर हैं, जबकि दूसरे नंबर पर राजमार्ग खंड है। परिषद ने सभी ब्लैक स्पॉट व दुर्घटना संभावित स्थलों के सुधारीकरण के निर्देश दिए हैं।
-------
प्रदेश में ब्लैक स्पॉट
संस्था, ब्लैक स्पॉट, दीर्घकालीन सुधार, कार्य प्रगति पर
लोनिवि, 29, 12, 00
लोनिवि-एनएच विंग, 33, 03,06
एनएचएआइ, 65, 18, 28
एनएचएआई-डीसीएल-बीआरओ, 02,00,00
--------
दुर्घटना संभावित स्थल
संस्था, संख्या
लोनिवि, 615
एनएच-लोनिवि, 291
एनएचएआइ, 69
बीआरओ, 11
--------
'सड़क हादसों पर अंकुश लगाने की दिशा में सरकार की ओर से हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं। ब्लैक स्पॉट व दुर्घटना संभावित स्थलों के सुधारीकरण को तात्कालिक एवं दीर्घकालीन कदम उठाने को कहा गया है। अवशेष ब्लैक स्पॉट के मद्देनजर डीपीआर स्वीकृति, रोड सेफ्टी ऑडिट, डीपीआर की कार्यवाही तुरंत पूर्ण कराने के निर्देश दिए गए हैं। 531 दुर्घटना संभावित स्थलों के सुधार के आगणन मिले हैं। इन पर कार्यवाही चल रही है।'
-यशपाल आर्य, परिवहन मंत्री, उत्तराखंड।